उपखंड अधिकारी दूदाराम व तहसीलदार प्रवीण चौधरी ने बांडी नदी में दो से तीन किलोमीटर तक पैदल घूमकर नदी के हालात देखे। नदी में बजरी का अवैध खनन पाया गया। मौके पर बड़े-बड़े गड्ढ़े मिले। उपखंड अधिकारी ने पटवारी को भी लताड़ लगाकर तुरंत मौका रिपोर्ट बनाने के निर्देश दिए।
दिवांदी गांव में नदी के किनारे ऐतिहासिक तोरणेश्वर महादेव मंदिर है। ऐसी मान्यता है कि भगवान श्रीकृष्ण की बहन सुभद्रा व अर्जुन के विवाह के समय का यह मंदिर साक्षी है। इस ऐतिहासिक धरोहर के आसपास से बजरी का अवैध खनन किया जा रहा है। मंदिर के रास्ते बंद किए जा रहे हैं। बजरी खनन से ऐतिहासिक धरोहर पर खतरा मंडरा रहा है।
दिवान्दी गांव में भारी मात्रा में हो रहे अवैध खनन को लेकर ग्रामीणें ने कुछ महीनों पहले खनन विभाग को शिकायत की थी। खनन विभाग की टीम ने दिवान्दी नदी में घूमकर नदी की स्थिति भी देखी थी। इसके बावजूद विभाग ने अवैध खनन करने वालों के खिलाफ कार्रवाई नहीं की। खनन अधिकारियों की नीयत पर भी सवाल उठ रहे हैं।