बांगड़ मेडिकल कॉलेज चिकित्सालय में सुपर स्पेशलिटी के तहत गेस्ट्रोलॉजिस्ट, कार्डियोलॉजिस्ट, न्यूरोलॉजिस्ट व यूरोलॉजिस्ट की नियुक्ति के आदेश हुए थे। इनमें से गेस्ट्रोलॉजिस्ट ने ही पदभार ग्रहण किया था, लेकिन उपकरणों के अभाव में मरीजों को जांच की सुविधा नहीं मिल रही थी।
मशीन लगने पर बेहतर होगा उपचार
गेस्ट्रोलॉजी विभाग में गेस्ट्रो स्कोप व कोरोना स्कोप मशीन लगने वाली है। इनके लगने पर इस विभाग के मरीजों की जांच हो सकेगी। मरीजों को उपचार की भी सुविधा मिलेगी।
डॉ. दीपक वर्मा, प्रिंसिपल, मेडिकल कॉलेज, पाली
नहीं कर पा रहे थे जांच
मशीनों के अभाव में मरीजों की जांच नहीं करवा पा रहे थे। अब मशीन लगने पर जांच हो सकेगी तो बीमारी की जड़ तक पहुंचकर उसका बेहतर उपचार किया जा सकेगा।
रविन्द्रपालसिंह जैतावत, गेस्ट्रोलॉजिस्ट, बांगड़ चिकित्सालय, पाली
…………………………………. यह होता है मशीनों का उपयोग
गेस्ट्रो स्कोप: इस मशीन से पेट व छोटी आंत की जांच की जाती है। इसमें मुंह से जांच कर पेट से छोटी आंत तक पेट दर्द, खून की उल्टी होना जैसी कई बीमारियों के बारे में पता लग सकेगा।
कोरोना स्कोप: यह मशीन बड़ी आंत की जांच के लिए उपयोग की जाती है। इससे दस्त, कब्ज, पेटदर्द, पेट की गांठ आदि की जांच मलद्वार के माध्यम से की जाती है। शरीर से गांठ आदि को निकालने में इसका उपयोग किया जाता है।