सीएम नीतीश कुमार की अध्यक्षता में कैबिनेट की मीटिंग सीएम संवाद कक्ष में हुई है। इस दौरान उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी भी मौजूद रहे। कैबिनेट की मीटिंग में कुल 15 प्रस्तावों पर मुहर लगाई गई है। इनमें सबसे खास प्रस्ताव राज्यकर्मियों का महंगाई भत्ता बढ़ाना है। इसके अलावा राज्य में पूर्ण शराबबंदी को और प्रभावी तरीके से लागू करने के लिए सरकार ने एक विशेष योजना शुरू की है।
कैबिनेट ने उन लोगों के लिए इस योजना की शुरूआत की है, जो ताड़ी और देशी शराब उत्पादन में पारम्परिक तरीके से जुड़े थे। उनके जीवकोपार्जन के लिए बकरी पालन, कुकुट पालन, भेंड पालन जैसी योजना चलायी जाएगी। इसके लिए अगले तीन साल में 840 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। कैबिनेट से मिली 15 एंजेंडों पर सरकार पर 733 करोड़ रुपये का अतिरिक्त बोझ पड़ेगा। बैठक के बाद कैबिनेट में लिये गये सभी विशेष निर्णयों की जानकारी कैबिनेट विभाग के प्रधान सचिव अरुण कुमार सिंह ने सूचना भवन में पत्रकारों को दी।
इसके अलावा मुख्यमंत्री, उपमुख्यमंत्री, मंत्री और मंत्री का दर्जा प्राप्त नेताओं की सुविधाओं में वृद्धि की गई है। वाह्य सेवकों के मानदेय में भी की गई वृद्धि। इसके अलावे वित्तीय संसाधनों को समुचित नियंत्रण को लेकर सलाहकार डीजीपी रखेंगे वित्तीय सलाहकार। वहीं, कर्मचारियों को निर्धारित वेतन पर मकान किराया भत्ता भी मिलेगा। इसके अलावा 1000 रुपये प्रतिमाह का चिकित्सा भत्त्ता भी मिलेगा। मोबाइल की लिए भी 500 रुपए प्रतिमाह का भत्ता मिलेगा। बिजली सब्सिडी के लिए CM विद्युत उपभोक्ता सहायता योजना की शुरुआत की है।
इसके साथ ही बिहार शरीफ को स्मार्ट बनाने के लिए स्मार्ट सिटी लिमिटेड कम्पनी का गठन। उसके निबंधन पर खर्च होंगे 2.5 करोड़ की राशि निर्गत की गई है। वहीं, कंपनी के गठन के साथ ही 488 करोड़ रुपये जारी किया गया है। साथ ही कई महत्वपूर्ण फैसले और लिए गए हैं।