नई दिल्ली। सविल सर्विस के बिना ही सचिव कैडर के पद में सीधी एंट्री का यह देश में पहला उदाहरण होगा जब जामनगर स्थित गुजरात आयुर्वेद विश्वविद्यालय के पूर्व उप कुलपति विद्या राजेश कोटेचा को सरकार ने आयुष मंत्रालय को विशेष सचिव नियुक्त किया हो। एनडीए सरकार में इस तरह को यह दूसरा मामला है, जब सरकार ने किसी गैर आईएएस अफसर को सचिव नियुक्त किया हो। इससे रिटायर्ड आईएएस ऑफिसर परमेश्वर अय्यर को पेयजल और स्वच्छता सचिव बनाया गया था।
पद्म श्री से सम्मानित
आयुर्वेदिक डॉक्टर कोटेचा को तीन साल के लिए नियुक्त किया गया है। उनकी पत्नी मीता जयपुर स्थित नेशनल इंस्टिट्यूट ऑफ आयुर्वेद में शिक्षण कार्य करती हैं। खुद को उद्यमी गुजाराती कहने वाले 54 वर्षीय कोटेचा एक अनपढ़ मां बाप की संतान हैं। उनके पहले उद्योग का उद्घाटन नरेंद्र मोदी ने किया था। 2015 में उन्हें पद्म श्री से सम्मानित किया गया था।
खड़े हो रहे सवाल
कोटेचा अपना नया आयुष कार्यालय जून 29 को ज्वाइन कर चुके हैं। कोटेचा ने कहा कि हालांकि वो अभी मंत्रालय के कामकाज से पूरी तरह से परिचित नहीं हैं। हालांकि गैर आईएएस होने के नाते कोटेचा की नियुक्ति को लेकर तमाम सवाल खड़े हो रहे हैं। कहा जा रहा है कि एक और जब कोटेचा की पत्नी मंत्रालय द्वारा संचालित संस्थान में नौकरी कर रही हैं, ऐसे में गैर आईएएस कोटेचा का मंत्रालय में बैठना कितना उचित है। यही नहीं उनके आरएसएस से संबंधों को लेकर भी चर्चा गरम हो चली है।
Home / Political / आयुष मंत्रालय में गैर आईएएस राजेश कोटेचा को सचिव बनाने पर उठे सवाल