2019 में संथाल की बाजी जीतने के लिए लिए बीजेपी ( BJP ) और महागठबंधन ने पूरा दमखम लगा दिया है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ( PM Narendra Modi ) 17 को बरहेट आ रहे हैं।
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प्रियंका ने संभाला मोर्चा
खास बात यह है कि पीएम मोदी के रथ को रोकने के लिए इस बार कांग्रेस से महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ( Priyanka Gandhi Vadra ) ने मोर्चा संभाला है। प्रियंका गांधी 18 को पाकुड़ आ रही हैं।
खास बात यह है कि पीएम मोदी के रथ को रोकने के लिए इस बार कांग्रेस से महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ( Priyanka Gandhi Vadra ) ने मोर्चा संभाला है। प्रियंका गांधी 18 को पाकुड़ आ रही हैं।
मोदी का छठा चुनावी दौरा
तीन दिन के अंदर पीएम मोदी की ये दूसरी संथाल परगना यात्री होगी। कुल मिला कर उनका ये छठा चुनावी दौरा होगा। जबकि झारखंड चुनाव में प्रियंका का यह पहला दौरा होगा।
तीन दिन के अंदर पीएम मोदी की ये दूसरी संथाल परगना यात्री होगी। कुल मिला कर उनका ये छठा चुनावी दौरा होगा। जबकि झारखंड चुनाव में प्रियंका का यह पहला दौरा होगा।
पहले उन्होंने झारखंड आने से इंकार कर दिया था। लेकिन जब कांग्रेस को अब तक हुए चुनाव में पोजिटिव फीडबैक मिला तो प्रियंका गांधी को चुनाव प्रचार के लिए राजी किया गया। महागठबंधन का मानना है कि प्रियंका गांधी का यह दौरा का झारखंड चुनाव में गेमचेंजर साबित होगा। राहुल गांधी चुनाव प्रचार के अभी तक तीन बार झारखंड आ चुके हैं।
सीटों का गणित
आपको बता दें कि संथाल परगना क्षेत्र में कुल 18 सीटें हैं जिनमें दो (देवघर और मधुपुर) पर 16 दिसम्बर को चुनाव हो गया। अब संथाल परगना की 16 सीटों पर चुनाव होना है।
आपको बता दें कि संथाल परगना क्षेत्र में कुल 18 सीटें हैं जिनमें दो (देवघर और मधुपुर) पर 16 दिसम्बर को चुनाव हो गया। अब संथाल परगना की 16 सीटों पर चुनाव होना है।
लगातार एक दल को समर्थन नहीं
अभी इस क्षेत्र में बीजेपी और झामुमो की ताकत लगभग बराबर है। 2014 में कुल 18 सीटों में से 07 बीजेपी और छह झामुमो ने जीती थीं। तीन कांग्रेस और दो झाविमो को मिलीं थीं। लेकिन इसके पहले संथाल परगना का पलड़ा कभी झामुमो की तरफ झुकता रहा है तो कभी बीजेपी की तरफ।
अभी इस क्षेत्र में बीजेपी और झामुमो की ताकत लगभग बराबर है। 2014 में कुल 18 सीटों में से 07 बीजेपी और छह झामुमो ने जीती थीं। तीन कांग्रेस और दो झाविमो को मिलीं थीं। लेकिन इसके पहले संथाल परगना का पलड़ा कभी झामुमो की तरफ झुकता रहा है तो कभी बीजेपी की तरफ।
इस क्षेत्र के मतदाता कभी एक दल लगातार समर्थन नहीं देते।