फडणवीस सरकार में मंत्री रह चुकी पंकजा मुंडे ने पिता गोपीनाथ मुंडे की बरसी पर 12 दिसंबर को समर्थकों की बैठक बुलाई है। उन्होंने कहा कि वे 8-10 दिन में बड़ा फैसला लेंगी। उन्होंने पोस्ट में लिखा है चुनाव में हार के बाद समर्थकों के कई फोन-मैसेज आए और मिलने का आग्रह किया गया लेकिन राजनीतिक स्थिति ऐसी रही कि समर्थकों से मिलना नहीं हो सका।
आपको बता दें कि पूर्व सीएम देवेंद्र फडणवीस सरकार में पूर्व मंत्री पंकजा मुंडे अपने गढ़ परली से चुनाव हार गई थीं। पंकजा को उनके चचेरे भाई धनंजय मुंडे से मात मिली। धनंजय मुंडे फिलहाल उद्धव सरकार के साथ हैं।
महाराष्ट्र विधानसभा में नेता विपक्ष धनंजय मुंडे ने अपनी बहन को लगभग 30,000 वोटों से शिकस्त दी थी। धनंजय मुंडे को 1,21,186 वोट मिले तो वहीं पंकजा मुंडे को मात्र 90418 वोट हासिल हुए थे।
फेसबुक पोस्ट में पंकजा मुंडे ने लिखा है, बदले राजनीतिक परिदृश्य में भावी कार्रवाई पर निर्णय लिया जाना जरूरी है। अगले 8-10 दिन में तय करूंगी कि आगे क्या करना है, किस रास्ते पर मुझे चलना है. हमारी मजबूती क्या है, इस पर ध्यान देना जरूरी है। पंकजा मुंडे ने कहा, मुझे बहुत कुछ बोलना है। मुझे उम्मीद है कि मेरे ‘जवान’ रैली में जरूर पहुंचेंगे।