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प्रतापगढ़

दुर्दशा को आमंत्रण देना है पश्चिमी संस्कृति को अपनाना

दुर्दशा को आमंत्रण देना है पश्चिमी संस्कृति को अपनाना

प्रतापगढ़May 20, 2022 / 02:28 pm

Devishankar Suthar

To invite plight is to adopt western culture दुर्दशा को आमंत्रण देना है पश्चिमी संस्कृति को अपनाना

To invite plight is to adopt western culture दुर्दशा को आमंत्रण देना है पश्चिमी संस्कृति को अपनाना


दलोट. कुमावत समाज के रामजानकी मंदिर की 17 वीं वर्षगांठ पर शिव महापुराण कथा का आयोजन गुरुवार से हुआ। इस दौरान कस्बे में कलशयात्रा और पौथीयात्रा निकाली गई। यहां राम जानकी मंदिर से कलश यात्रा शुरू हुई। जो कस्बे में होते हुए नई कुमावत धर्मशाला के सत्संग हाल में समाप्त हुई। कथा के प्रथम दिवस पर प्रवचन करते हुए पंडित दिनेश व्यासने कहा कि शिव पुराण कथा के 3 सूत्र हैं। श्रवण, कीर्तन और मनन। शिव पुराण कथा श्रवण मात्र से ही इस कलयुग में मानव मात्र का कल्याण हो जाता है। आज हम अपनी भारतीय संस्कृति को भूलते जा रहे हैं। पश्चिमी संस्कृति को अपनाकर हमारी दुर्दशा को आमंत्रण दे रहे हैं। प्रत्येक सनातनी को हर रोज अपने घर में पांच घी की आहुति देवताओं के निमित्त अवश्य देनी चाहिए। आज के युग में कोई शराब के कोई धन के नशे में मस्त है। उनको भगवत भक्ति से कोई सरोकार नहीं है। फिर भी भूले-भटके अगर कोई इस शिव महापुराण का सत्संग करता है तो उसके सारे पाप नष्ट हो जाते हैं। संतों का सान्निध्य प्राप्त होने से कथा का श्रवण करने से जीवन में क्रांतिकारी परिवर्तन आते हैं। कथा श्रवण से जीवन में सुमति आती है और जहां सुमति आती है, वहां विभिन्न प्रकार की संपदा अपने आप प्राप्त हो जाती है। हमारे धार्मिक ग्रंथ जीवन का दर्शन कराते हैं कथा में बैठने से जीवन धन्य हो जाता है और प्राणी सभी पापों से मुक्त हो जाता है। पत्रिका न्यू•ा नेटवर्क
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असावता. यहां गांव में 7 दिवसीय संगीतमय भागवत ज्ञान गंगा महोत्सव का आयोजन जारी हैै। यहां कथा के 5 वें दिन बुधवार को श्री कृष्ण की बाल लीलाओं के बारे में बताया गया। इस मौके पर कृष्ण की बाल लीला की जीवंत झांकी भी सजाई गई। कथावाचक सुभाषकृष्ण शर्मा अमलाधाम बडनग़र उज्जैन ने कथा का वाचन किया। उन्होंने बताया कि मनुष्य के जीवन में अच्छे व बुरे दिन प्रभु की कृपा से ही आते हैं। भागवत कथा में धूम धाम से कृष्ण जन्मोत्सव मनाया। कृष्ण जन्मोत्सव पर नंद के घर आनंद भयो जय कन्हैया के गीत पर भक्त जमकर झूमे। कथा का आयोजक रामप्रताप पाटीदार परिवार द्वारा किया जा रहा है। इसके साथ ही सप्त दिवसीय महायज्ञ आचार्य अनिल वैष्णव द्वारा प्रतिदिन किया जा रहा है। कथा आसपास क्षेत्र से कई श्रद्धालु प्रतिदिन पहुंच रहे है।

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