ये बरतें सावधानी
घर के बाहर मास्क लगाकर निकलें। सोशल-फिजिकल डिस्टेंसिंग बनाकर रखें। कोशिश करें कि भीड़भाड़ वाले क्षेत्रों में ना जाएं। अगर आप बाहर से घर लौट रहे हैं तो कोई भी सामान न छुएं। पूरे कपड़े बदलें, कपड़ों को धोएं, नहाए नहीं तो सैनीटाइजर का इस्तेमाल करें। जरा भी लक्षण दिखाई दें तो तत्काल डॉक्टर से संपर्क करें।
महिलाओं की इम्युनिटी पुरुषों से ज्यादा
आईएमए रायपुर की सचिव एवं स्त्री रोग विशेषज्ञ डॉ. आशा जैन का मानना है कि महिलाओं और पुरुषों की इम्युनिटी (रोक प्रतिरोधकता क्षमता) में बहुत ज्यादा फर्क नहीं होता। जब महिलाएं गर्भवती होती हैं तो उनकी इम्युनिटी कम हो जाती है। डॉ. आशा कहती हैं कि पुरुष घूमते अधिक है, इसलिए संक्रमित हो रहे हैं।
बीमारी वालों को सबसे ज्यादा खतरा
हार्ट, लिवर, किडनी, कैंसर, शुगर, बीपी और इनके अतिरिक्त अन्य बीमारियों से ग्रसित लोगों के लिए कोरोना खतरनाक साबित हो सकता है और हो रहा है। अब तक प्रदेश में 17 लोगों की कोरोना वायरस से जान गई, इनमें से सिर्फ 1 मरीजों को छोड़कर शेष सभी किसी न किसी बीमारी से पूर्व से ग्रसित थे। यही वजह है कि शासन-प्रशासन इन मरीजों की पहचान करने के लिए घर-घर सर्वे करवा रहा है, जिसमें सर्वेकर्ता बीमारियां पूछ रहे हैं।
पुरुषों की घूमने की प्रवृत्ति उन्हें कर रही कोरोना से बीमार
यह भी एक वजह है कि पुरुष ज्यादा संक्रमित मिल रहे हैं। अनलॉक-2 में मिलने वाले संक्रमितों में डॉक्टर, आर्मी, अर्धसैनिक बलों और पुलिस के जवान बड़ी संख्या में संक्रमित मिले हैं। इनके साथ ही बैंककर्मी, निगम के सफाईकर्मी, फल-सब्जी बेचने वाले, फेरी वाले, नाई, ड्राइवर-कंडक्टर, होटल स्टाफ, दूसरे राज्यों से लौटे संक्रमित मजदूरों की संख्या भी काफी अधिक है। ऐसे में अब जवाबदारी महिला-पुरुष दोनों की है कि वे एक-दूसरे को बीमारी के प्रति जागरूक करके मददगार बनें, क्योंकि यह लड़ाई सबकी है।
बच्चे और बुजुर्ग कम संक्रमित
प्रदेश स्वास्थ्य विभाग ने शुरुआत से बार-बार यह अपील जारी की कि बच्चों और बुजुर्गों को घरों से ना निकलने दें। अगर, बहुत आवश्यक हो तो पूरे एहतियात के साथ। यही कारण है कि बच्चे और बुजुर्ग संक्रमित पाए जा रहे हैं, मगर कम। कोरबा का 3 माह का बच्चा सबसे कम उम्र का संक्रमित मरीज है, तो वहीं भिलाई के 89 वर्ष के बुजुर्ग सबसे अधिक उम्र के संक्रमित व्यक्ति हैं। दोनों ही कोरोना को मात देकर घर लौट चुके हैं।