इस पोस्ट के कुछ देर बाद ही सीएम बघेल ने काफी तीखा पोस्ट किया। वित्त विभाग के आदेश की कॉपी अटैच कर उन्होंने लिखा डॉक्टर की डिग्री है, 15 साल तक प्रदेश चलाया, फिर भी यह अज्ञानता? क्या नियमों की जानकारी आपको नहीं है? आप भले ही अपनी सरकार नियमों को ताक पर रखकर चलाते रहे होंगे, लेकिन हम नहीं। प्रदेश में सरकारी नौकरियों पर रोक नहीं, आउटसोर्सिंग पर रोक लगी है।
आदेश की कॉपी पढ़ लें और झूठ न बोलें। आपको बता दें कि वित्त विभाग ने सोमवार को एक आदेश जारी कर सीधी भर्ती से पहले विभाग की अनुमति लेने का निर्देश दिया था। इसको सरकारी नौकरियों पर रोक समझा गया। भाजपा इसे लेकर सरकार पर हमलावर है।
सरकार बोली- नई भर्ती पर रोक नहीं लगी : वित्त विभाग के अपर मुख्य सचिव अमिताभ जैन ने साफ किया है कि राज्य सरकार ने सरकारी नौकरियों और नई भर्तियों पर किसी तरह की रोक नहीं लगाई है। सरकार ने वर्ष 2014 से रिक्त पदों की नियुक्ति के संबंध में हर वर्ष नियमित रूप से जारी निर्देशों को आगामी एक वर्ष तक और प्रभावशील करने के निर्देश दिए हैं। इसके तहत लोक सेवा आयोग के माध्यम से की जाने वाले सीधी भर्ती के पदों एवं अनुकंपा नियुक्ति के पदों को छोडकऱ शेष सभी सीधी भर्ती के रिक्त पदों को भरने के पूर्व वित्त विभाग की अनुमति प्राप्त करना जरूरी है। वित्त विभाग ने वर्ष 2014, 2015, 2016, 2017 और 2018 में भी इसी तरह के निर्देश जारी किए थे।
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