अब सरकारी इलाज में स्मार्ट कार्ड की अनिवार्यता खत्म, राशनकार्ड से ही होगी पहचान
डॉ. खूबचंद बघेल स्वास्थ्य सहायता योजना: राशनकार्ड के डाटाबेस से जुड़ी योजना, 5 लाख तक नि:शुल्क इलाज का फायदा सभी प्राथमिकता और अन्त्योदय राशनकार्डधारियों को, एपीएल कार्डधारी परिवारों को भी मिलेगा, 50 हजार रुपए तक नि:शुल्क इलाज
रायपुर. राज्य सरकार ने डॉ. खूबचन्द बघेल स्वास्थ्य सहायता योजना में स्मार्ट कार्ड की अनिवार्यता को खत्म कर दिया है। अब राशन कार्ड से ही लाभार्थी मरीज की पहचान होगी। यह व्यवस्था प्रदेश के सभी सरकारी और अनुबंधित अस्पतालों में शुक्रवार से ही लागू हो गई। इस नई व्यवस्था से प्रदेश के 65 लाख परिवारों को फायदा पहुंचेगा। स्मार्टकार्ड से 61 लाख परिवारों को ही सुविधा मिलती थी।
अधिकारियों ने बताया, योजना के बेनिफिशियरी आइडेंटिफिकेशन सिस्टम को खाद्य विभाग के डेटाबेस से जोड़ दिया गया है। इस परिवर्तन से मरीजों को स्मार्ट कार्ड पर निर्भर नहीं रहना पड़ेगा। अगर खाद्य विभाग के पोर्टल पर राशन कार्ड के डाटाबेस में मरीज का नाम है, तो उसे प्राथमिकता, अंत्योदय अथवा एपीएल राशन कार्ड के अनुसार 5 लाख से 50 हजार रुपए तक इलाज सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी। मरीज को राशन कार्ड के नाम से पहचान सिद्घ करने के लिए आधार, ड्राइविंग लाइसेंस, पासपोर्ट जैसा कोई सरकारी पहचान पत्र लाना होगा। बताया गया, डेटा बेस में नाम और पहचान स्थापित होने के बाद अस्पतालों में ही तत्काल ई-कार्ड बना दिए जाएंगे। सामान्य कार्डधारी परिवार के मरीज को पचास हजार और प्राथमिकता, अन्त्योदय राशनकार्डधारी को पॉच लाख रूपए तक का नि:शुल्क उपचार हो सकेगा। प्रदेश में 56 लाख परिवारों के पास प्राथमिकता और अन्त्योदय राशन कार्ड है। शेष के पास एपीएल राशनकार्ड। अधिकारियों ने बताया, इस नई व्यवस्था के बावजूद पहले से जारी स्मार्टकार्ड की हैसियत बस पहचानपत्र की रह जाएगी।
समन्वय में लगी नोडल एजेंसी
राज्य नोडल एजेंसी बदलाव को लागू करने की प्रक्रिया का समन्वय कर रही है। साफ्टवेयर में हुए बड़े बदलाव के लिए सभी साफ्टवेयर इन्जीनियरों के मोबाईल नंबर अस्तपालों को मुहैय्या करा दिए गए हैं। अस्पतालों व मरीजों को किसी भी तरह की दिक्कत होने पर तत्काल मदद उपलब्ध कराई जा रही है। हर अस्पताल में एक संयोजक भी रखा गया है।
सभी परिवारों को मिलेगा लाभ
स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री टीएस सिंहदेव ने बताया कि प्रदेश के सभी परिवारों को लाभ पहुंचाने के लिए शुक्रवार को योजना को राशनकार्ड के डेटाबेस से लिंक कर दिया गया है। जिनके पास भी एक रुपए किलोग्राम वाला राशन कार्ड है, उनको पांच लाख तक और १० रुपए किलो वाले राशनकार्डधारी परिवार को ५० हजार तक इलाज मिलेगा। पहली बार इलाज के लिए आने वालों को राशनकार्ड अथवा उसकी कॉपी लाना होगा ताकि उनकी पहचान की जा सके। एक बार बीआईएस में दर्ज हो जाने के बाद कोई पहचानपत्र ही काफी होगा।
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