ये भी पढ़ें : CG Election 2018: भाजपा के घोषणा पत्र में इन वर्गों पर रहेगा फोकस इसके अन्तर्गत चिकित्सा महाविद्यालयों और दंत चिकित्सा महाविद्यालयों के लिए शिक्षकों की नियमित नियुक्ति के अधिकार स्वशासी समिति की कार्यकारिणी समिति को होंगे। इनके वेतनभत्तों के भुगतान की व्यवस्था स्वयं के राजस्व से करने के लिए महाविद्यालय समर्थ रहेगा।
ये भी पढ़ें : पांच वर्षों में राज्य में 15 प्रतिशत बढ़े करोड़पति उम्मीदवार, जिसमें इस दल के नेता सबसे अधिक यह भी प्रावधान किया गया है कि चयनित शिक्षक अपने-अपने कॉलेजों में ही कार्य करेंगे और उनकी सेवाएं अस्थानांतणीय होंगी। इन नियमों के तहत अधिष्ठाता, प्राचार्य और अस्पताल अधीक्षक जैसे प्रशासनिक पदों पर भर्ती नहीं की जाएगी। पूर्व से कार्यरत एवं लोकसेवा आयोग द्वारा चयनित नियमित शिक्षकों की सेवा शर्तें पूर्ववत रहेंगी।
ये भी पढ़ें : CG Election 2018: जब विधानसभा भंग की नौबत आई तो श्यामाचरण शुक्ल ने ही नैया पार लगाई गोशालाओं में लगेंगे सोलर पम्प
बैठक में पंजीकृत और संचालित गोशालाओं को भी सौर सुजला योजना के तहत सोलर पम्प देने का फैसला किया गया। इससे पशुओं के लिए पेयजल और चारा उत्पादन के लिए सिंचाई की सुविधा मिल सकेगी।
यह है माडा
माडा (मॉडिफाई एरिया डेवलपमेंट एप्रोच) क्षेत्र 10 हजार या उससे ज्यादा आबादी वाले एक से ज्यादा राजस्व गांवों के ऐसे क्षेत्र को कहा जाता है, जहां 50 प्रतिशत या उससे अधिक जनसंख्या आदिवासियों की होती है। छत्तीसगढ़ के सात जिलों में 9 माडा क्षेत्र हैं। इन माडा क्षेत्रों में विशेष पिछड़ी जनजाति बैगा और कमार समुदायों के लोग भी निवास करते हैं।