पंचायती राज के प्रबल समर्थक थे राजीव गांधी, सपनों को साकार कर रही छत्तीसगढ़ सरकार
“भारत की आत्मा गांवों में निवास करती है और उसे पंचायती राज के जरिए मूर्त रूप दिया जा सकता है” इसी मूलमंत्र के साथ देश के पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी ने इस मॉडल को अस्तित्व में लाया। प्रदेश सरकार पंचायती राज के उद्देश्यों को पूरे करते हुए सफलतापूर्वक आगे बढ़ रही है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की भेंट मुलाकात कार्यक्रम भी पूर्व प्रधानमंत्री गांधी की इसी सकारात्मक नवाचारी सोच का हिस्सा है, जहां वे धरातल पर इसके क्रियान्वयन को परख रहे हैं।
‘गॉंवों के विकास से ही बनेगा समृद्ध- शक्तिशाली भारत’- पूर्व प्रधानमंत्री श्री राजीव गांधी की इस सोच को लेकर ही छत्तीसगढ़ की भूपेश सरकार काम कर रही है। स्वर्गीय राजीव गांधी की सोच थी कि जब तक गॉव के किसान, गरीब भूमिहीन मजदूर, वनवासियों लोगों के जीवन स्तर में बदलाव करने वाली योजनाएं और कार्यक्रमो का ईमानदारी और सजगता से क्रियान्वयन नही होगा तब तक भारत का विकास संभव नही है। किसानों की ऋण माफी से लेकर गोबर खरीदी और गौठानों को रूरल इंडस्ट्रियल पार्क के रूप में विकसित करने, भूमिहीन मजदूरों को सात हजार रुपये की सालाना सहायता जैसी कई योजनाएं राज्य सरकार ने चला रखी है, जिनसे किसानों, मजदूरों, भूमिहीनों की तरक्की और उन्हें गॉंव में ही रोजगार के अवसर मुहैया कराने से आज छत्तीसगढ़ के गॉंवों और ग्रामीणों के हालात तेज़ी से बदल रहे है।
भारत की आत्मा गांवों में निवास करती है और उसे पंचायती राज के जरिए मूर्त रूप दिया जा सकता है” इसी मूलमंत्र के साथ देश के पूर्व प्रधानमंत्री श्री राजीव गांधी ने पंचायती राज मॉडल को अस्तित्व में लाया था। आज मुख्यमंत्री श्री बघेल के नेतृत्व में प्रदेश सरकार पंचायती राज के उद्देश्यों को पूरे करते हुए सफलतापूर्वक आगे बढ़ रही है। मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल की भेंट मुलाकात कार्यक्रम भी पूर्व प्रधानमंत्री श्री गांधी की इसी सकारात्मक नवाचारी सोच का हिस्सा है, जहां वे धरातल पर इसके क्रियान्वयन को परख रहे हैं।
लगभग एक पीढ़ी बीतने को है पर आंनदपुर गांव के लोग आज भी पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय श्री राजीव गांधी का पूरे परिवार के साथ गांव आना और उनका मिलनसार व्यवहार नही भूले हैं। श्री रामब्रिज ने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री श्री राजीव गांधी की तरह ही हमारे मुख्यमंत्री भी गांव गरीब किसान मजदूर की चिंता करते है। गोबर खरीद कर भी लोगो को रोजगार और पैसा दिलाया जा सकता है, ऐसी सोच केवल एक संवेदनशील मुख्यमंत्री की ही हो सकती है। उन्होंने कहा कि गोबर बेचकर आज कोई गाड़ी खरीद रहा है ,कोई पत्नी के लिए गहने। कोई घर पक्का करा रहा है तो कोई बच्चों की पढ़ाई के लिये पैसा खर्च कर रहा है। छत्तीसगढ़ सरकार की योजनाओं ने हर आदमी का जीवन सरल किया है , पारिवारिक समरसता भी बढ़ी है ।