कार्यक्रम में सांची विश्वविद्यालय के कुलपति आचार्य प्रो. यज्ञेश्वर एस शास्त्री ने कहा कि शिक्षक के गुण छात्रों में स्थानांतरित होते हैं, लेकिन वर्तमान में अगर समाज में बिगाड़ दिखाई दे रहा है तो इसका कारण है कि शिक्षक अपने अच्छे आचरण और गुणों से छात्रों को ही प्रभावित नहीं कर पा रहे हैं।
स्व. प्रो. सुनंदा शास्त्री सांची बौद्ध भारतीय ज्ञान अध्ययन विश्वविद्यालय में डीन अधिष्ठाता के पद पर कार्यरत थीं। पिछले वर्ष ही हृदयाघात से उनका निधन 16 अक्टूबर को हो गया था। वे संस्कृत की प्रकांड विदुषी थीं।उनके नाम पर एक गोल्ड मैडल अवॉर्ड की स्थापना भी की गई है। यह गोल्ड मैडल प्रत्येक वर्ष एमए के पाठ्यक्रम में टॉप करने वाले छात्र को दिया जाएगा।