तपस्या करने वालों का शोभायात्रा के साथ स्वागत
मिच्छामी दुक्कड़म के साथ की क्षमा याचना
तपस्या करने वालों का शोभायात्रा के साथ स्वागत
भीम. कस्बे में शुक्रवार को जैन समाज के तपस्या करने वालों की शोभायात्रा निकाली, जिसमें प्रथम में बैण्ड बाजो के साथ आठ दिन (अठाई) की तपस्या करने वाली सीमा पत्नी महावीर गन्ना एवं कस्बे के ही गौतमचन्द आछा बडाखेड़ा आठ दिन (अठाई), आनन्द हिंगड़ प्रक्षा कोठारी, कविता कोठारी, मीनू कोठारी अपने निवास स्थानो से इसमें शामिल हुए। शोभायात्रा ट्रक स्टैण्ड, सब्जी मण्डी मार्ग, सदर बाजार, कपड़ा बाजार होते हुए केसरियानाथ मंदिर पहुंची। मंदिर में गुणी की परम्परा की गई तथा महिलाओं द्वारा गीतों के साथ तपस्या करने वालों का स्वागत किया गया। इस दौरान लाड कंवर चोपड़ा, इन्द्रा बोहरा, मंजू मुणोत, अंजना चोपड़ा, प्रतिभा कोठारी, सुशीला, शशिबाला, बसंता गन्ना, उमराव कोठारी, लादी गन्ना, चंचल, भावना गन्ना आदि मौजूद थे।
जैन स्थानक में खम्मत खामणा
कस्बे के जैन स्थानक में साध्वी प्रियदर्शना, साध्वी तत्वज्ञान साध्वी विचक्षणाश्री, स्वाध्याय साध्वी सुकृतिश्री, संयम साध्वी सुप्रज्ञप्तिश्री के सान्निध्य में शुक्रवार को पर्युषण एवं संवत्सरी समापन हुआ। इसके बाद जैन स्थानक में प्रात: 8 बजे खम्मत खामणा किया गया, जिसमें करीब दो सौ से अधिक श्रावक-श्राविकाओं ने एक दूसरे से मिलकर एक वर्ष के भीतर जाने या अनजाने में अपने द्वारा हुई गलतियों के चलते क्षमा याचना की। इस दौरान जैन स्थानक संघ मंत्री भीकमचन्द कोठारी, समाजसेवी पारसमल मुणोत, जसवंतराज देरासरिया, प्रकाश चोपड़ा, बाबूलाल कोठारी, बाबूलाल देरासरिया, सम्पतराज मुणोत, अरूण देरासरिया, अशोक दक, रतनलाल देरासरिया, तरूण गन्ना, गौतम गन्ना उपस्थित थे।
आत्म निरीक्षण का दिवस है संवत्सरी: मुनि भूपेन्द्र कुमार
कस्बे के तेरापंथ सभा भवन में संवत्सरी के अवसर पर धर्मसभा को सम्बोधित करते हुए मुनि भूपेन्द्र कुमार ने कहा कि संवत्सरी का पर्व आत्म निरीक्षण का दिवस है। साल में एक बार आने वाला पर्व संवत्सरी महा दिवस है। उन्होंने कहा कि इस दिन व्यक्ति अपने मन के अंदर महान संकल्प करने का निर्णय करता है। संवत्सरी का दिन आत्म निरीक्षण का दिन होता है, जिसमें साल भर के अंदर मैंने क्या किया और क्या नहीं किया, जो नहीं किया है उसके प्रति पश्चाताप के भाव मन के अंदर जाते हैं और जो किया है अगले साल उससे भी उन्नत करने की भावना मन में पैदा होती है। भगवान महावीर ने इस दिवस को सबसे महत्वपूर्ण दिवस बताया गया है और यह दिवस चातुर्मास से प्रारंभ होने वाले एकदम से 50 दिन पूरे होते हैं उस दिन यह पावन पर्व मनाया जाता है। इस दौरान तेरापंथ सभा अध्यक्ष मिश्रीलाल दक, हेमराज दक, मूलचन्द माण्डोत, रोशनलाल कोठारी, रोशनलाल पितलिया, महावीर चोरडिया, दिलीप कोठारी, मुन्नालाल मुणोत, तेरापंथ युवक परिषद अध्यक्ष भरत हिंगड़, मेवाड़ कॉन्फ्रेन्स के महेन्द्र कोठारी, तेरांपथ युवक परिषद मंत्री दीपक भटेवरा, युवक परिषद के संरक्षक गौतम भटेवरा, सुनील मुणोत, महावीर दक मौजूद थे।