बैठक के बाद स्वास्थ्य विभाग द्वारा जारी आदेश में कहा गया है कि कोविड-19 के संभाव्य प्रसार को देखते हुए झारखंड में इसके प्रसार को रोकने के लिए सामाजिक अलगाव के उपायों को अपनाना उचित और आवश्यक हो गया है। इस बीमारी से भारत समेत पूरे विश्व को खतरा उत्पन्न हो गया है। महामारी रोग अधिनियम 1897 की धारा 2, 3 और 4 के तहत झारखंड महामारी रोग (कोविड-19) विनियम 2020 के तहत प्रदत्त शक्तियों का उपयोग करते हुए राज्य सरकार ने अपने क्षेत्राधिकार में 31 मार्च तक पूर्णतय तालाबंदी (लॉकडॉउन) की स्थिति को अधिसूचित करने का निर्णय लिया गया है।
इस आदेश के जिन गतिविधियों पर तत्काल प्रभाव से 31 मार्च तक रोक लगाई गई है, उसके तहत आकस्मिक सेवाओं को छोड़कर राज्य सरकार के सभी कार्यालय बंद रहेंगे। सभी पदाधिकारी और कर्मचारी अपने घर से सरकारी कार्यों का निष्पादन करेंगे। परंतु वे मुख्यालय नहीं छोड़ेंगे। आवश्यकता पड़ने पर कार्यालय प्रधान उन्हें ऑफिस में बुला सकेंगे।
टैक्सी, ऑटो-रिक्शा, बसें, ई-रिक्शा, रिक्शा के संचालन सहित किसी सार्वजनिक परिवहन सेवाओं के परिचालन पर पूर्ण रोक रहेगी। हालांकि स्वास्थ्य सेवाओं को इससे बाहर रखा जाएगा। सभी दुकानें, व्यवसायिक प्रतिष्ठान, कार्यालय, फैक्ट्री, गोदाम, साप्ताहिक, हाट-बाजार आदि संपूर्ण गतिविधियां बंद रहेगी। सभी प्रकार के निर्माण कार्य तत्काल प्रभाव से स्थगित रहेंगे। सभी धार्मिक स्थल दर्शनार्थियों के लिए पूर्णतः बंद रहेंगे। विदेशों से आने वाले सभी नागरिकों और अन्य राज्य से आये नागरिक स्वास्थ्य अधिकारी द्वारा निर्धारित क्वॉरेंटाइन की अवधि का कड़ाई से अनुपालन करेंगे। सभी नागरिक अपने घर में ही रहेंगे। बुनियादी आवश्यकताओं की पूर्ति के क्रम में बाहर जाने पर सामाजिक दूरी के दिशा-निर्देशों का अनुपालन करेंगे।
आवश्यक सेवाएं प्रदान करने वाले कार्यालय, प्रतिष्ठान, जिनमें विधि व्यवस्था से संबंधित अधिकारी-कर्मी, पुलिस, स्वास्थ्य, अग्निशमन सेवाएं, कारा सेवाएं, राशन दुकान, रेल, हवाईअड्डा व बस स्टैंड के लिए परिवहन को लेकर विशेष व्यवस्था, बिजली, पेयजलापूर्ति, नागरिक सेवाएं, बैंक, एटीएम, प्रिंट व इलेक्ट्रॉनिक व सोशल मीडिया, टेलीकॉम, इंटरनेट सेवा,आईटी सेवा, खाद्य, दवा एवं चिकित्सा उपकरण सहित सभी आवश्यक वस्तुओं की ई कॉमर्स आपूर्ति, खाद्य पदार्थ, किराने का सामान, दूध, ब्रेड, फल व सब्जी के परिवहन एवं भंडारण की गतिविधियां, होम डिलीवरी रेस्टोरेंट, हॉस्पीटल, दवा दुकान, पेट्रोल पंप, गैस के परिवहन व भंडारण शामिल है।
लेकिन पांच व्यक्तियों या उससे अधिक व्यक्तियों का जमावड़ा पूर्णतया निषेध रहेगा। इस संबंध में उपायुक्त, वरीय पुलिस अधीक्षक, पुलिस अधीक्षक अपर समाहर्ता, अनुमंडल पदाधिकारी, अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी,प्रखंड विकास पदाधिकारी, अंचलाधिकारी व नगर निकाय आवश्यक कार्रवाई करेंगे। वहीं इस निर्णय का उल्लंघन करने वाले व्यक्ति या प्रतिष्ठान के विरूद्ध भारतीय दंड संहिता 1860 के सेक्शन 188 के तहत दंडनीय होंगे।