रेलवे के अनुसार मंडल में 24 घंटे में दो दर्जन एेसी यात्री ट्रेन निकलती है जिनमे रसोई यान नहीं होता है। एेसे में इन यात्रियों को भी अब भोजन उपलब्ध हो सकेगा। इसके अलावा सुबह ट्रेन के आने के दौरान गर्म-गर्म नाश्ता भी दिया जाएगा। रेलवे ये नाश्ता व भोजन को रेलवे के रिफ्रेशमेंट रूम में तैयार करवाएगा। इसकी आपुर्ति यात्री को उसकी सीट पर जाकर की जाएगी।
कुछ ही ट्रेन में है ये सुविधा असल में मंडल में इस समय लंबी दूरी की जो यात्री ट्रेन चलती है, उनमे से कुछ में ही रसोईयान की सुविधा है। एेसे में यात्रियों को यात्रा में सबसे अधिक परेशानी का सामना करना पड़ता है। ये परेशानी दिन में यात्रा के दौरान अधिक होती है। जब तक कोई स्टेशन नहीं आए तब तक भूख लगने पर भी यात्री को स्टेशन का इंतजार करना पड़ता है। इसमे भी समय पर ट्रेन को पहुंचाने के नियम के चलते आजकल ट्रेन 5 मिनट से अधिक किसी स्टेशन पर नहीं रुकती है। एेसे में यात्री को परेशानी का सामना करना होता था। अब एेसा नहीं होगा। मंडल में नागदा से ट्रेन के प्रवेश से लेकर गोधरा तक व अन्य दिशा में यात्रियों को यात्रा के समय ट्रेन में रसोईयान नहीं होने पर परेशानी नहीं होगी।
ऐसे मिलेगी सुविधा आइआरसीटीसी से अनुबंधित कंपनियों के कर्मचारी रिफ्रेंशमेंट रूम से तय संख्या में खाना, चाय और समोसा सहित अन्य वस्तुएं लेकर चलेंगे। हर ट्रेन में एक प्रबंधक और सामान बेचने वाले सात कर्मचारी होंगे। इनका मेडिकल रेलवे कराएगा और यात्रा पास भी जारी होगा। यात्री को उनकी सीट पर ही खाना और अन्य सामान मिलेगा।
– जेके जयंत, जनसंपर्क अधिकारी, रतलाम रेल मंडल