फिलहाल दोनों ही प्रमुख दलों को नए चेहरे की तलाश है और इसी के बल पर वे सीट पर काबिज होने की राह भी तलाश रहे है। सैलाना विधानसभा सीट अजा बहुलता वाले मतदाताओं की सीट है। इस सीट पर लंबे समय से प्रभुदयाल गेहलोत विधायक व बाद में मंत्री भी बने। एक दो बार एेसा भी हुआ कि जब उनको पार्टी ने टिकट नहीं दिया तो निर्दलिय चुनाव जीतकर आए व अपनी ताकत से पार्टी को अहसास करा दिया। ये अब जीवित नहीं है, लेकिन जब तक रहे इनको सैलाना का गांधी कहा जाता था। अब हालात अलग है। वर्ष 2013 में इन्होंने उम्र का हवाला देकर अपने बेटे हर्ष विजय गेहलोत को चुनाव लड़ाया, लेकिन जीता नहीं सके।
2013 की जीत हार भाजपा संगीता चारेल- 47662
कांगे्रस हर्षविजय-45583
ये है बडे़ मुद्दे इस विधानसभा सीट पर शिवगढ़, रावटी, सरवन, बाजना, बेड़दा आदि बडे़ क्षेत्र आते है। यहां पर ओद्योगिक विकास के नाम पर कुछ नहीं हुआ। यहां तक की सरकारी अस्पताल भी रेफर केंद्र बना हुआ है। बिजली की लुकाछिपी अब भी जारी रहती है। गांव में बेहतर सड़कों की कमी है।
कांगे्रस के मजबूत दावेदार
जिला ग्रामीण कांगे्रस के कार्यकारी अध्यक्ष हर्षविजय गेहलोत, जिला पंचायत सदस्य के पूर्व सदस्य कमल देवदा, जनपद के पूर्व अध्यक्ष वालू झोडि़या दावेदारी कर रहे है। हर्षविजय युवाओं में लोकप्रिय है। इनके अलावा अन्य दावेदार भी अपने स्तर पर प्रयास कर रहे है। देवदा जिला पंचायत में पूर्व सदस्स रहे व अब इनकी पत्नी सदस्य है। जबकि झोडि़या जनपद में अध्यक्ष रहने के बाद से अब तक सक्रिय क्षेत्र में रहे है।
जिला ग्रामीण कांगे्रस के कार्यकारी अध्यक्ष हर्षविजय गेहलोत, जिला पंचायत सदस्य के पूर्व सदस्य कमल देवदा, जनपद के पूर्व अध्यक्ष वालू झोडि़या दावेदारी कर रहे है। हर्षविजय युवाओं में लोकप्रिय है। इनके अलावा अन्य दावेदार भी अपने स्तर पर प्रयास कर रहे है। देवदा जिला पंचायत में पूर्व सदस्स रहे व अब इनकी पत्नी सदस्य है। जबकि झोडि़या जनपद में अध्यक्ष रहने के बाद से अब तक सक्रिय क्षेत्र में रहे है।
भाजपा के दावेदार भाजपा की विधायक संगीता चारेल है। इनके पति मंडी में अध्यक्ष है व वे भी टिकट में बदलाव होने की बात होने पर टिकट के लिए दोवेदारी कर रहे है। इनके अलावा पूर्व चुनाव में जनता दल में लड़कर ३२५९३ हजार वोट पाकर बाद में भाजपा में आए नारायण मईड़ा ने भी पार्टी से टिकट मांगा है। मईड़ा इस समय जिला पंचायत सदस्य है। अजा मोर्चा में प्रदेशमंत्री मोतिलाल निनामा ने भी टिकट मांगा है, ये पूर्व में निर्दलिय चुनाव लड़ चुके है। इनके अलावा पूर्व विधायक लालहिंग देवदा भी टिकट मांगने वालों की कतार में है। पार्टी में आदिवासी मोर्चे के जिला उपाध्यक्ष कालूसिंह निनामा ने भी टिकट के लिए दोवदारी की है।
नए दावेदारों के बीच तलाश रहे प्रत्याशी
भाजपा हो या कांगे्रस, दोनों दलों को नए चेहरों की तलाश है। जिला पंचायत के पूर्व सदस्य सीमा खराड़ी के पति व कृषि विभाग में कार्यरत मांगीलाल खराड़ी व सैलाना मंडी के पूर्व अध्यक्ष के साथ वर्तमान सदस्य शेखर गेहलोत में से एक पर भाजपा का श्रेष्ठी वर्ग दांव लगाने की सोच रहा है। टिकट किसकों मिलेगा, ये स्पष्ट तो घोषणा के बाद ही होगा।
भाजपा हो या कांगे्रस, दोनों दलों को नए चेहरों की तलाश है। जिला पंचायत के पूर्व सदस्य सीमा खराड़ी के पति व कृषि विभाग में कार्यरत मांगीलाल खराड़ी व सैलाना मंडी के पूर्व अध्यक्ष के साथ वर्तमान सदस्य शेखर गेहलोत में से एक पर भाजपा का श्रेष्ठी वर्ग दांव लगाने की सोच रहा है। टिकट किसकों मिलेगा, ये स्पष्ट तो घोषणा के बाद ही होगा।
कोई भी लड़े, जीत हमारी तय सैलाना सीट शुरू से कांगे्रस समर्थक रही है। यहां से पार्टी जिसको टिकट देगी वो चुनाव लड़ेगा व जीतेगा। हर कार्यकर्ता प्रत्याशी के लिए कार्य करेंगे।
– राजेश भरावा, जिलाध्यक्ष, कांगे्रस
– राजेश भरावा, जिलाध्यक्ष, कांगे्रस
हम जीतने के लिए उतरेंगे सरकार ने सैलाना में विकास के अनेक कार्य किए है। उन कार्यो के दम पर हम मैदान में उतरेंगे। हमरा लक्ष्य सबका साथ सब का विकास है। टिकट जिसे मिलेगा, पार्टी का प्रत्येक कार्यकर्ता उनको कार्य करेगा।
– राजेश परमार, प्रभारी, भाजपा, सैलाना
– राजेश परमार, प्रभारी, भाजपा, सैलाना