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रतलाम

भटकने के बजाय आश्रय केंद्र में मिलेगी श्रमिकों को राहत

एमआर एसोसिएशन व श्रम संगठनों की संयुक्त समिति के पदाधिकारियों ने बढ़ाया कदम

रतलामMay 02, 2021 / 05:38 am

sachin trivedi

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रतलाम. कोरोना महामारी में अर्थव्यवस्था की रीढ़ कहे जाने वाले श्रमशक्ति की परेशानियों को लेकर न सरकार सोच रही है, न प्रशासन। ऐसे में श्रमिक काम की तलाश में या जहां पर काम कर रहे हैं। वहां से पलायन कर रहे है। ऐसे लोगों का आसरा बनने के लिए पत्रिका की पहल पर शहर का मप्र-छत्तीसगढ़ मेडिकल सेल्स एंड रिप्रेंजेटिव एसोसिएशन व श्रम संगठनों की संयुक्त समिति ने शनिवार को शास्त्री नगर में एमआर एसोसिएशन के कार्यालय पर पहला श्रमिक आश्रय केंद्र शुरू किया है। इसका शुभारंभ श्रम संगठनों की संयुक्त समिति के अध्यक्ष अश्विनी शर्मा, जिला इंटक कौंसिल के पूर्व अध्यक्ष मनोज पांडेय, एमआर एसोसिशन के कोषाध्यक्ष कमलेश देशमुख, सचिव हरीश सोनी, पत्रिका के स्थानीय संपादक सचिन त्रिवेदी, मार्केंटिंग मैनेजर विजय मकवाना, ब्यूरो प्रभारी सौरभ पाठक आदि की उपस्थिति में किया गया। समिति अध्यक्ष शर्मा ने कहा कि पत्रिका की पहल पर इस बार हमने अनोखा मई दिवस मनाया है। इसमें लॉकडाउन के दौरान पलायन कर रहे श्रमिकों की परेशानी दूर करने के साथ उनकी सेवा को मौका दिया है। हम आश्वस्त करते हैं कि यहां पर आने वाले श्रमिक का सभी प्रकार से सहयोग करने का प्रयास करेंगे। उन्हें यह अहसास कराएंगे कि उनके भाई यहां पर मौजूद है। स्थानीय संपादक त्रिवेदी ने अभियान की अवधारणा व आगे की रूपरेखा पर विस्तार से प्रकाश डाला।

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आश्रय केंद्र पर ये सुविधाएं मिलेंगी
2 वर्तमान में दस बेड की व्यवस्था की गई है, आगे और बढ़ाएंगे।
2 यहां आने वाले श्रमिकों के ठहरने, भोजन और चाय नाश्ते की व्यवस्था रहेगी।
2 सैनेटाइजर व मास्क की व्यवस्था मुख्य द्वार पर ही रहेगी।
2 मेडिकल किट की व्यवस्था भी रहेगी। ताकि थोड़ी परेशानी होने पर वे दवाई का उपयोग कर सके। सभी दवाएं प्रमाणिक मिलेगी।
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अन्य जिम्मेदारों को भी आगे आना चाहिए
पत्रिका ने श्रमिकों को होने वाली परेशानी को समझकर श्रमिक आश्रय केंद्र की शुरुआत करने का सराहनीय कदम उठाया है। जिन जिम्मेदारों को यह कार्य करना चाहिए था। उन्हें भी आगे आना चाहिए। यह सामूहिक पहल करने का वक्त है। मनोज पांडेय, पूर्व अध्यक्ष, जिला इंटक कौंसिल, रतलाम।
पीडि़त मानवता की सेवा का मिला मौका
आपदा काल में पत्रिका ने हमें पीडि़त मानवता की सेवा का मौका उपलब्ध कराया है। इस सेवा के अवसर को जिम्मेदारी से निभाकर रतलाम व अन्य शहरों के लिए मिसाल कायम करेंगे।
कमलेश देशमुख, कोषाध्यक्ष, मप्र-छत्तीसगढ़ एमआर एसोसिएशन, रतलाम।
सामाजिक सरोकार के कार्यो को बढ़ा रहे
एसोसिएशन हमेशा सामाजिक सरोकार के कार्य से जुड़े रहकर हिस्सा लेते रहती है। पर्यावरण बचाने केे लिए पौधरोपण व लोगों के जीवन बचाने के लिए रक्तदान के कार्य में हिस्सा लेती है। श्रमिकों की सेवा का मौका मिलने से हमारा मनोबल और बढ़ा है। – हरीश सोनी, सचिव, मप्र-छत्तीसगढ़़़ एमआर एसोसिएशन, रतलाम।
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