परिजन उक्त बच्चे की हत्या की आशंका जता रहे है। जिस स्थान पर कुआं स्थित है वहां तक पहुंचना चार साल के बच्चे के लिए संभव नहीं है। कुएं तक पहुंचने का रास्ता काफी उबडख़ाबड़ है। इसके अलावा कुएं तक जाने का रास्ता एक व्यक्ति के घर से होकर गुजरता है। कुएं के चारों ओर सुरक्षा दीवार बनी हुई है। इतनी मुश्किलों के बाद चार वर्षीय बच्चे का वहां तक पहुंचना और सुरक्षा दीवार बाद भी कुएं में गिरना गले से नहीं उतर रहा है।
इस घटना से पूरे कस्बे में तनाव का वातावरण देखने को मिला। घटना के चलते नगर के व्यापारिक प्रतिष्ठान बंद रहे और सामान्य दिनों की अपेक्षा बाजार में भीड़भाड़ कम दिखी। घटना के विरोध स्वरूप लोगों ने अपनी दुकानें बंद कर दी थी। सांयकाल लोगों ने अपनी दुकानें खोली थी।
इस घटना के दौरान पुलिस के ढुलमुल रवैये की वजह से परिजनों का आक्रोश बढ़ गया था। घटना की शिकायत दर्ज करवाने सोमवार की दोपहर करीब तीन बजे थाने गये थे। थाने की पुलिस ने तत्काल कार्रवाई करने के लिए बजाय परिजनों को त्योंथर चौकी में शिकायत दर्ज करवाने की सलाह दी। लगातार कई घंटे तक कोई कार्रवाई नहीं की गई। बच्चे को ढूंढने के बजाय परिजनों को पुलिस छकाती रही। फलस्वरूप देर रात परिजनों के सब्र का बांध टूट गया और उन्होंने थाने में हंगामा करते हुए जमकर बवाल किया। अब अपनी गल्ती को छिपाने के लिए पुलिस हंगामे की बात भी स्वीकार नहीं कर पा रही है।