जिला पंचायत सभागार में दोपहर बाद जिपं सीइओ ने पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग की सभी योजनाओं के क्रियान्वयन की समीक्षा की। सीइओ ने कहा, मनरेगा की मॉनीटरिंग जनपद सीइओ स्वयं करें। उन्होंने कहा पंचायतों में वर्ष २०१६-१७ तक कराए गए निर्माण कार्यों पूर्णता प्रमाण पत्र यानी सीसी जारी कराओ।
एक सप्ताह के भीतर सीसी नहीं जारी करने वालों के खिलाफ प्रकरण पंजीबद्ध कराया जाए। समीक्षा के दौरान अधिकारियों की ओर से प्रस्तुत किए गए रिपोर्ट में बताया गया है कि वर्ष 2015-16 से लेकर 2017-18 तक एक हजार से अधिक कार्य अपूर्ण हैं। दस करोड़ रुपए से ज्यादा के लागत के विकास कार्य अधूरे होने पर सीइओ ने नाराजी जताई है। चेतावनी दी है कि अधूरे कार्यों को अगली बैठक तक पूर्ण कराकर सीसी जारी कराएं। एक सप्ताह के भीतर चालू वित्तीय वर्ष का लक्ष्य पूरा कराने के लिए जनपद सीइओ स्वयं मानीटरिंग करें।
जिपं सीइओ ने कहा, विकास कार्यों की समीक्षा के लिए जिला और जनपद स्तर पर कंट्रोलरूम स्थापित करें। विकास कार्यों के प्रगति की रिपोर्ट प्रतिदिन आना चाहिए। किसी भी तरह की कोतवाही बर्दास्त नहीं की जाएगी। बैठक के दौरान सीइओ प्रदीप दूबे, महावीर जाटव, हरिश चंद्र द्विवेदी सहित योगेन्द्र पांडेय सहित अन्य अधिकारी एवं कर्मचारी मौजूद रहे।