यह हाल शहर की शासकीय स्कूलों का है, जिले के ग्रामीण अंचलों की शासकीय स्कूलों की स्थिति और चौंकाने वाली मिलेगी। शहर में शिक्षकों की पर्याप्त संख्या होने के बावजूद पढ़ाई का स्तर घटा है। यहां 267 प्राथमिक और 124 मिडिल स्कूल हैं। इन शासकीय स्कूलों में 1608 शिक्षक विद्यार्थियों के पढ़ा रहे हैं। इन पर लाखों रुपए का वेतन हर माह खर्च किया जा रहा है। फिर भी हालात नहीं सुधर रहे हैं।
इन स्कूलों में की पड़ताल
पत्रिका ने शनिवार को म्युनिसिपल स्कूल बालक शाला, शासकीय माध्यमिक कन्या शाला रामपुरा और एमएलबी मिडिल स्कूल (एक) में कक्षा 6वीं से लेकर 8वीं तक के विद्यार्थियों से सवाल पूछे।
निजी स्कूलों में बढ़ रहे विद्यार्थी
शहर के स्कूलों में पर्याप्त शिक्षक, मध्याह्न भोजन, गणवेश और साइकिल जैसी सरकार की योजनाओं के बाद भी विद्यार्थियों की संख्या नहीं बढ़ रही है। शहर में इस सत्र में शासकीय स्कूलों में पढ़ाई कर रहे कक्षा 1 से आठवीं तक के विद्यार्थियों की संख्या 35557 है। वहीं निजी स्कूलों में पढ़ाई कर रहे विद्यार्थियों की संख्या 630715 है। सरकारी स्कूलों से हर वर्ष विद्यार्थियों की संख्या घट रही है।
सही जवाब हां में/गलत जवाब नहीं में (प्रतिशत)
मप्र के मुख्यमंत्री का नाम क्या है? 5/95
स्वयं के नाम की स्पेलिंग क्या है ? 15/85
माता-पिता के नाम की स्पेलिंग क्या है ? 10/90
सागर के कलेक्टर का क्या नाम है ? 2/98
स्कूल के नाम की स्पेलिंग क्या है ? 5/95
नौ का पहाड़ा बताओ ? 40/60
इतने विद्यार्थी
शासकीय प्रायमरी स्कूल- 267
शासकीय मिडिल स्कूल – 124
प्राइवेट स्कूल- 277
स्कूलों की संख्या
अनुदान प्राप्त अशासकीय स्कूल- 5
केंद्रीय विद्यालय- 5
मदरसा- 5
संस्कृत स्कूल- 5
शिक्षकों की संख्या
प्रायमरी स्कूल- 991
मिडिल स्कूल- 617
सरकारी स्कूल में विद्यार्थियों की संख्या- 35557
प्राइवेट स्कूल में विद्यार्थियों की संख्या- 630715