शहर के लोग आसपास की नदियों में सुबह से तर्पण करने पहुचने लगे हैं। साथ ही तालाब किनारे चकराघाट पर भी बारी बारी से कई शिप्टों में पंडितो द्वारा सामूहिक तर्पण कराया गया। तर्पण में कुश,दूध,जवा, तिल, सफेद वस्त्र का उपयोग किया जाता है। इस बार पितृ पक्ष 13 से 28 सितंबर तक रहेगा।
निशुल्क कुशा वितरण किया गया
सत्यम कला एवं संस्कृति संग्रहालय समिति सागर द्वारा नि:शुल्क कुशा वितरण ऋषिकुल संस्कृत विद्यालय गोपालगंज में पं. शम्भूदयाल पाण्डेय,पं.जेपी पाण्डेय, आचार्य श्रीराम शुक्ल, पं.हरी शुक्ला,पं.आनंद मिश्रा, प्राचार्य एमडी त्रिपाठी और समिति के संरक्षक उमा कान्त मिश्र की उपस्थिति किया गया। ऋषिकुल संस्कृत विद्यालय गोपालगंज के विद्यार्थियों के स्वस्ति वाचन के साथ कार्यक्रम की शुरूआत की। कार्यक्रम मेंशताधिक लोगों को कुशा के साथ अन्य तर्पण सामग्री भी नि:शुल्क प्रदत्त की गई।
समिति के अध्यक्ष दामोदर अग्निहोत्री ने बताया कि शुद्ध कुशा आज कठिनाई से प्राप्त हो रहे हैं। हमारी प्राचीन दुर्लभ वनस्पति विलुप्त होने की कगार पर है अत: अब हमें इनके संरक्षण के प्रति जमीनी प्रयास करने की आवश्यकता है। कुशा वितरण 16 सितंबर तक जारी रहेगा। इस कार्य की सफलता में निर्मल कुमार मिश्रा, केशव प्रसाद पांडेय ,बाबूलाल पाठक ,राजेन्द्र अग्निहोत्री, हेमंत प्रजापति का विशेष सहयोग रहा।