बताया जा रहा है कि मां शारदा के दर्शन के लिए त्रिकूट पर्वत पर लगाए गए रोपवे में तकनीकी खराबी आ गई और रोपवे चलते-चलते अचानक रुक गया। रोपवे जब रुका तब 30-32 ट्राली हवा में झूल रही थी। प्रत्येक ट्राली में चार दर्शनार्थी थे। यानी लगभग सवा सौ दर्शनार्थी करीब पौन घंटे तक हवा में लटके रहे। रोपवे की इन ट्रालियों में महिलाएं और बच्चे भी थे।
इसकी जानकारी जैसे ही प्रशासन को लगी तो प्रशासनिक अधिकारियों के होश उड़ गए। आनन-फानन में इंजीनियरों को बुलाया गया। इंजीनियरों ने तकनीकी गड़बड़ी का पता लगना शुरू किया। जानकारी के अनुसार करीब पौन घंटे की कड़ी मशक्कत के बाद इंजीनियरों ने गड़बड़ी दूर कर रोपवे को चलाया तब जा कर लोगों के जान में जान आई।
इसे देखते हुए मैहर एसडीएम धर्मेंद्र मिश्रा ने दामोदर रोपवे कंपनी के प्रबंधकों से बात कर श्रद्धालुओं की दिक्कत के मद्देनजर रोपवे टिकट का शुल्क वापस करने का निर्देश दिया। साथ ही एसडीएम ने घटना की जांच के निर्देश भी दिए। उन्होंने रोपवे प्रबंधन से जांच रिपोर्ट भी तलब की है। उन्होंने प्रबंधन को कहा है कि वो ध्यान रखें कि ऐसी घटना की पुनरावृत्ति न हो।
बताया जा रहा है कि ज्ञा नवरात्र शुरू होने से ठीक पहले ही दामोदर रोपवे कंपनी ने तीन दिन तक रोपवे संचालन रोक कर मरम्मत आदि किया था, ताकि नवरात्र में देवी धाम आने वाले श्रद्धालुओं को किसी तरह की दिक्कत न हो। लेकिन नवरात्र समाप्त होने के बाद भी अभी श्रद्धालुओं की बड़ी तादाद मैहर में है। वो मंदिर भी जा रहे हैं। लोग चर्चा करते रहे कि जब 9-10 दिन पहले ही रोपवे की मरम्मत की गई थी तो अचानक फिर से रोपवे कैसे बंद हो गया। ऐसे में इसी दरम्यान रोपवे में आई गड़बड़ी को लेकर रोपवे कंपनी पर ही सवालिया निशान खड़ा होने लगा है।