वन भूमि पर अतिक्रमण, किया पाबंद
रणथम्भौर नेशनल पार्क में अतिक्रमण का मामला: पुलिस व वन विभाग की पहुंची टीम
मलारना डूंगर रणथम्भौर नेशनल पार्क के बफर एरिया श्यामोली-सांकड़ा वन क्षेत्र में अतिक्रमण रोकने पहुंची वन विभाग व पुलिस की संयुक्त टीम।
मलारना डूंगर. रणथम्भौर नेशनल पार्क की तालड़ा रेंज में बिलोली नदी, श्यामोली-सांकड़ा वन क्षेत्र में बाघ पर्यावास के लिए आरक्षित बफर एरिया में वन भूमि पर अतिक्रमण की सूचना पर बुधवार को वन विभाग व पुलिस की संयुक्त टीम मौके पर पहुंची। जहां सांकड़ा के पास तीन लोगों द्वारा वन भूमि जोत कर अतिक्रमण करने का मामला सामने आया।
आरोपितों को चिह्नित कर पुलिस व वन विभाग की टीम आरोपियों के घर भी पहुंची, लेकिन आरोपी टीम के पहुंचने से पहले ही निकल गए। इस पर मलारना स्टेशन वन चौकी इंचार्ज अशोक शर्मा ने तीनों आरोपियों के परिजनों को पाबंद कर वन भूमि अतिक्रमण नहीं करने की हिदायत दी।
मलारना स्टेशन वन चौकी इंचार्ज अशोक शर्मा ने बताया कि बुधवार को सांकड़ा-श्यामोली वन क्षेत्र में कुछ लोगों द्वारा अतिक्रमण की सूचना मिली थी। सूचना के बाद रेंजर राजबहादुर मीणा के निर्देश पर मलारना स्टेशन पुलिस चौकी से जाप्ता लेकर मौके पर पहुंचे। जहां सांकड़ा के दो व हरिया की झोपड़ी निवासी एक जने ने वन भूमि जोतने की पुष्टि हुई। इस पर आरोपियों के परिजनों को पाबंद किया गया।
बजरी खनन पर दबिश, खाली हाथ लौटे
इस दौरान बनास नदी में अवैध बजरी खनन कर वन क्षेत्र में होकर वाहन निकालने की सूचना भी मिली। सूचना पर पुलिस व वन विभाग की टीम ने बिलोली नदी, गोखरूपुरा, श्यामोली आदि इलाकों में दबिश दी, लेकिन कहीं भी ना तो खनन करते कोई मिला ना ही बजरी वाहन नजर आए। ऐसे में टीम को खाली हाथ लौटना पड़ा। वन कर्मियों का कहना है कि बनास नदी व वन भूमि क्षेत्र में वाहनों के टायरों के निशान मिले हैं। इससे लगता है कि यहां कुछ देर पहले तक अवैध खनन भी हुआ व वन भूमि में होकर बजरी के वाहन भी निकाले गए, लेकिन टीम के पहुंचने से पहले ही वह निकल गए। वन चौकी प्रभारी अशोक शर्मा ने बताया कि बजरी खनन माफियाओं पर कार्रवाई के लिए दबिश देंगे।
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