क्यों लगी आग पता नहीं
सूचना पाकर मौके पर पहुंची फायर ब्रिगेड गाड़ी ने ग्रामीणों की सहायता से आग पर काबू पाते हुए इसे आगे बढऩे से रोक दिया। आग लगने के कारणों का पुख्ता खुलासा नहीं हो पाया, लेकिन आग लगने की वजह बिजली के शार्ट सर्किट का होना बताया जा रहा है। घटना की जानकारी मिलते ही एसडीएम हरि सिंह चौधरी ने हलके के पटवारी हरिद्वार कीर एवं विवेक पटवारी को घटनास्थल की ओर रवाना किया। पटवारी हरिद्वार के अनुसार बाला गांव में लगी आग से लगभग 20 एकड़ जमीन पर खड़ी फसल को नुकसान हुआ है। यह फसल पूरी तरह जलकर खाक हो गई है।
इनके खेत प्रभावित
इसमें किसान कमलेश पिता हरिनारायण, हरिनारायण पिता हेमा जी, अमित पिता रामेश्वर, शंकर पिता श्री राम, सोहन पिता श्री राम के खेत में नुकसान हुआ है। इस संबंध में एसडीएम हरिसिंह चौधरी का कहना है कि पटवारी की जांच रिपोर्ट आने के बाद शासन की योजना अनुसार किसान को मुआवजा दिया जाएगा।
आष्टा में शार्ट सर्किट
इसी प्रकार आष्टा में बिजली तारों में हुए शार्टसिर्कट से लगी आग ने फसल को जलाकर राख कर दिया। काफी मशक्कत के बाद यह आग की ज्वाला ठंडी पड़ी। जानकारी के अनुसार किलेरामा निवासी अशोक परमार के खेत में मंगलवार को अचानक बिजली तारों में हुए शार्टसर्किट से आग लग गई। आग इतनी तेज थी कि उसने खेत में खड़ी गेहूं की फसल को अपनी चपेट में ले लिया। इसकी जानकारी दमकल को दी गई, जब तक वह पहुंचती तब तक खेत में खड़ी करीब एक एकड़ से अधिक की फसल जल चुकी थी। इसके बाद पहुंची दमकल से उस पर काबू पाया गया।
कटी हुई फसल हुई बर्बाद
इससे किसान को काफी नुकसान होने की बात सामने आई है। बताया जा रहा है कि कुछ फसल को किसान ने हार्वेस्टर से काट लिया था, जिससे बड़ा नुकसान होने से भी टला है। बिजली कंपनी की लापरवाही से किसान के सपनों पर जलती चिंगारी ने पानी फैर दिया। आंखों के सामने ही किसान के अरमान जलते रहे, लेकिन घटना को नहीं रोका जा सका। आग के चलते किसान को लाखों का नुगसान हो गया। दोराहा के ग्राम डोबरा में भडक़ी आग की चिंगारी से ग्रामीणों को सकते में ला दिया। धुंए और आग की लपटों को देख उस दिशा में दौड़ पड़े जिसे जो हाथ लगा उसी ने आग पर काबू पाने का प्रयास किया गया। वहीं दमकल को भी घटना की सूचना दी गई, लेकिन जब तक पुरुषोत्तम शर्मा के छह एकड़ के खेत में खड़ी गेहूं की फसल जलकर खाक हो गई थी। बताया जाता है, कि खेत से होकर बिजली के तार निकले है। जो खतरनाक स्थित में झूल रहे हंै। बिजली के तारों से किसी प्रकार की अनहोनी न हो इसके चलते किसानों ने बिजली कंपनी के जिम्मेदारों को अवगत कराया था।