करीब दो सप्ताह के बाद फिर एक बार शुक्रवार-शनिवार को हुई जोरदार बारिश ने नदी-नालों में उफान ला दिया। क्षेत्र की प्रमुख नदी वैनगंगा व सागर अपने रौद्र रूप में नजर आईं।
पलारी सहित क्षेत्रों में लगातार 24 घंटों से हो रही बरसात से जहां पूरा क्षेत्र पानी-पानी हो गया है। नदी-नाले में आए उफान से सड़क मार्ग कुछ समय के लिए प्रभावित भी हुए। इस बारिशसे किसानों की चिंता भी नुकसानी के रुप में सामने आई है। इस बारिश से मक्के की फसल नष्ट होने की कगार पर है।
खैरापलारी क्षेत्र के किसान मनोज ठाकुर, संतोष ठाकुर, मधु ठाकुर, राधेश्याम साहू, दीपक साहू आदि ने बताया कि इस बारिश से मक्के की फसल को काफी नुकसान हो रहा है, क्योंकि जहां मक्का निकल गया है। वहां बारिश के कारण मक्का अंदर ही अंदर बीज अंकुरित होने लगा है। कई जगह तो लगातार पानी से फसल नष्ट हो गई है। ऐसी स्थिति में अत्यधिक पानी नुकसानदायक साबित हुआ है। किसानों द्वारा अब शासन-प्रशासन की ओर आर्थिक नुकसानी के सर्वे और राहत राशि देने की आश लगाई जाने लगी है।
पलारी सहित क्षेत्रों में लगातार 24 घंटों से हो रही बरसात से जहां पूरा क्षेत्र पानी-पानी हो गया है। नदी-नाले में आए उफान से सड़क मार्ग कुछ समय के लिए प्रभावित भी हुए। इस बारिशसे किसानों की चिंता भी नुकसानी के रुप में सामने आई है। इस बारिश से मक्के की फसल नष्ट होने की कगार पर है।
खैरापलारी क्षेत्र के किसान मनोज ठाकुर, संतोष ठाकुर, मधु ठाकुर, राधेश्याम साहू, दीपक साहू आदि ने बताया कि इस बारिश से मक्के की फसल को काफी नुकसान हो रहा है, क्योंकि जहां मक्का निकल गया है। वहां बारिश के कारण मक्का अंदर ही अंदर बीज अंकुरित होने लगा है। कई जगह तो लगातार पानी से फसल नष्ट हो गई है। ऐसी स्थिति में अत्यधिक पानी नुकसानदायक साबित हुआ है। किसानों द्वारा अब शासन-प्रशासन की ओर आर्थिक नुकसानी के सर्वे और राहत राशि देने की आश लगाई जाने लगी है।