पड़ोसी के नाम पर 38 साल से कर रहा था नौकरी
बुढ़ार थाना अंतर्गत कोयला खदान में एक शख्स बीते करीब 38 साल से पड़ोसी के नाम से नौकरी कर रहा था। कॉलरी प्रबंधन ने कर्मचारियों का बीमा कराया तो नॉमिनी के दस्तावेज पड़ोसी के पत्नी के हाथ लग गए। जिसके बाद पूरा मामला उजागर हुआ। मामले की शिकायत बुढ़ार पुलिस से हुई। पुलिस ने जांच के बाद आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज किया है। टीआई राजेश मिश्रा के अनुसार, अहिरान टोला निवासी सीता राम चौधरी ने साल 1984-85 में रोजगार पाने के लिए शहडोल रोजगार कार्यलाय में आवेदन किया था। जिसके बाद कॉलरी से नौकरी मिल रही थी। इस दौरान नौकरी लगने का ज्वानिंग लेटर भेजा गया था, जो पड़ोसी सुरेश साकेत के हाथ लग गया था। इस दौरान आरोपी ने दस्तावेजों में हेरफेर करते हुए खुद सीता राम चौधरी बन गया और धनपुरी ओसीएम में नौकरी करने लगा। आरोपी लंबे समय से कॉलरी में नौकरी कर रहा है। इस दौरान कॉलरी प्रबंधन ने कर्मचारियों का बीमा कराया तो नॉमिनी में पड़ोसी सीता राम चौधरी की पत्नी का नाम था। इससे जुड़े दस्तावेज भी उसकी पत्नी के पास पहुंच गए, जिसके बाद पूरा मामला उजागर हुआ। पुलिस ने आरोपी सुरेश साकेत के खिलाफ 419,420,467,468,471,120 बी के तहत मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।
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गुमराह किया, कहा- गलती से पहुंच गए दस्तावेज
पॉलिसी में नॉमिनी से जुड़े दस्तावेज सीताराम के घर पहुंचे तो उसकी पत्नी ने आरोपी सुरेश साकेत से चर्चा की। इस दौरान आरोपी सुरेश ने गुमराह करने का प्रयास किया। उसने सीताराम से पॉलिसी लेते हुए यह कह दिया था कि गलती से पहुंच गई है। बाद में पड़ताल की तो कॉलरी में फर्जी तरीके से गलत नाम से नौकरी करने की बात सामने आई। बताया जा रहा है कि एक तरफ जहां सुरेश साकेत सीताराम बनकर कॉलरी में नौकरी कर रहा था वहीं दूसरी तरफ नौकरी का असली हकदार सीताराम बदहाली की हालत में जिंदगी गुजार रहा है। वो नौकरी न मिलने से सब्जी का व्यवसाय कर परिवार का गुजर-बसर कर रहा था। बीमा संबंधी दस्तावेज उसे 2019 में हाथ लगे थे, जब से पड़ताल में जुट गया था और कॉलरी प्रबंधन से भी मामले की शिकायत कर जांच कराने की बात कही थी।
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