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शाहडोल

बेरोजगारी में राम करते हैं पंडिताई तो लक्ष्मण घर पर आराम

रामलीला में काम करने के बाद सभी पात्र हो जाते हैं बेरोजगार

शाहडोलOct 07, 2019 / 08:06 pm

amaresh singh

Staging of ramlila in dashara

बेरोजगारी में राम करते हैं पंडिताई तो लक्ष्मण घर पर आराम

शहडोल। रामलीला में भगवान राम का पात्र निभाने वाले राम बेरोजगारी में पंडिताई का काम करते हैं तो लक्ष्मण को कोई काम नहीं मिल रहा है। वे घर पर आराम करते हैं। भरत और शत्रुध्न भी काम नहीं मिलने के चलते घर पर बेरोजगार बैठते हैं। विराट सेवा समिति अजय रामलीला मंच सोहागपुर गढ़ी में रामलीला में किरदार निभाने वाले सीधी जिला निवासी शिवेन्द्र कुमार शुक्ला भगवान राम का किरदार निभाने के बाद बेरोजगार हो जाते हैं। इसलिए घर पर ही पंडिताई का काम करते हैं। इसी प्रकार सतना निवासी लक्ष्मण का किरदार निभाने वाले राहुल द्विवेदी लक्ष्मण का किरदार निभाने के बाद बेरोजगार हो जाते हैं। काम नहीं मिलने से वे घर पर बैठते हैं। यही हाल भरत का किरदार निभाने वाले राहुल तिवारी और शत्रुध्न का किरदार निभाने वाले दीपक कुमार मिश्रा का भी है। वहीं रावण भी महंगाई में बच नहीं पाया है। रावण का किरदार निभाने वाले कमलेश प्रसाद द्विवेदी किरदार निभाने के बाद घर पर कुछ खेती बाड़ी का काम करते हैं।


35 साल से कर रहे रामलीला में काम
दुर्गा आदर्श रामलीला मंडल करीब 35 साल से रामलीला का मंचन कर रहा है। इस मंडल का गठन साल 1980 में हुआ था। इसमें से कई लोग उसी समय से किरदार निभा रहे हैं तो बुजुर्ग होने से काम छोड़ चुके हैं। यहां पर ये लोग पिछले दो साल से रामलीला का मंचन कर रहे हैं। यहां 26 अक्टूबर से रामलीला का मंचन चल रहा है। जो 9 नवंबर को भगवान राम के राज्याभिषेक के बाद समाप्त होगा। रामलीला के किरदार दशहरा पर रावण का वध करने स्टेडियम भी जाएंगे।

अजय रामलीला मंच को हो गए 74 साल
अजय रामलीला मंच को स्थापित हुए 74 साल बीत गए हैं। शुरुआत में यहां रामलीला की शुरुआत स्थानीय महाराज ने शुरू किया। इसके बाद से यह लगातार चला आ रहा है। मंच के अध्यक्ष सुभाष सोनी ने बताया कि रामलीला में बदल-बदलकर मंडली आती रहती है। पिछले दो साल से यही मंडली आ रही है। पिछले कई दशकों में काफी कुछ बदल गया लेकिन स्थानीय लोगों की सहयोग से यह कार्यक्रम लगातार चल रहा है। मंहगाई में इसे चलाना मुश्किल हो रहा है लेकिन लोगों की सहयोग के बदौलत इसे चलाया जा रहा है। रामलीला को देखने काफी संख्या में आस-पास के लोग एकत्रित होते हैं।

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