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बेवफा निकले ये डॉक्टर, इनके नहीं आने से 36 महिलाओं को करना पड़ा रैफर

locationशाजापुरPublished: Apr 02, 2019 09:51:29 pm

Submitted by:

Gopal Bajpai

ज्वाइन करने के बाद आजतक जिला अस्पताल नहीं आए डॉ. निदानिया, स्वास्थ्य खराब होने पर लिया मेडिकल अवकाश

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बेवफा निकले ये डॉक्टर, इनके नहीं आने से 36 महिलाओं को करना पड़ा रैफर

शाजापुर.
स्वास्थ्य संचालनालय द्वारा बीते दिनों बड़ी संख्या में डॉक्टरों के ट्रासंफर किए गए थे। इसी बदलाव में उज्जैन में पदस्थ एनेस्थिसिया स्पेशलिस्ट डॉ. राजू निदारिया को जिला अस्पताल शाजापुर में पदस्थ किया गया था। पदस्थी के साथ ही उनके शाजापुर आने पर संशय की स्थिति थी। लेकिन 14 मार्च को उन्होंने अस्पताल में ज्वाईन कर लिया और एक दिन के अवकाश पर गए थे। लेकिन १९ दिन बीतने के बाद भी वह अस्पताल नहीं आ रहे हैं। इससे एक बार फिर प्रबंधन चिंता में है और ऑपरेशन सुविधा बंद है।
इधर शाजापुर जिला अस्पताल में करीब 10 माह से एनेस्थिसिया स्पेशलिस्ट नहीं है। ऐसे में औसतन हर दिन २ से ३ गर्भवती महिलाओं को डिलेवरी के लिए रैफर किया जाता है। लंबे समय बाद जिला अस्पताल में उज्जैन में पदस्थ सिविल सर्जन डॉ. राजू निदारिया की एनेस्थिसिया स्पेशलिस्ट के रूप में जिला अस्पताल में पदस्थी की गई थी। डॉ. निदारिया ने १४ मार्च को जिला अस्पताल पहुंचकर ज्वाइन तो कर लिया लेकिन अभी तक कार्य शुरू नहीं किया है। बता दें कि भले ही डॉ. निदानिया ने जिला अस्पताल में आकर ज्वाइन कर लिया है, लेकिन उनके यहां कार्य करने को लेकर शुरु से ही संशय बना हुआ था। डॉ. निदानिया के कार्य शुरू नहीं करने पर जिला अस्पताल में सीजर नहीं हो पा रहे है, जिससे जिला अस्पताल में आने वाले मरीजों को काफी परेशानी उठाना पड़ती है।

कार्य करते को ३६ पैसेंट नहीं होते रैफर
वैसे तो जिला अस्पताल में एक साल से एनेस्थिसिया नहीं है। लेकिन डॉ. निदानिया ज्वाइन करने के साथ ही कार्य शुरू कर देते तो जिला अस्पताल के मरीजों को रैफर के चक्कर में नहीं उलझना पड़ता। बता दें कि डॉ. निदानिया के ज्वाइन करने के बाद से जिला अस्पताल में लगभग ३६ गर्भवती महिलाओं को रैफर किया गया है। इनमें से कुछ महिलाओं को इंदौर-उज्जैन जाना पड़ा और कुछ महिलाओं को मजबूरन प्रायवेट अस्तपाल में डिलेवरी कराना पड़ी है।

डॉ. निदानिया ने लिया मेडिकल अवकाश
बता दें कि 14 मार्च को ज्वाईन करने के बाद डॉ. निदारिया एक दिन के अवकाश पर गए थे। लेकिन 22 मार्च तक नहीं आने पर उनसे संकर्प किया गया तो उन्होंने स्वास्थ्य खराब होने की बात कही और दो सप्ताह के मेडिकल अवकाश का आवेदन भेजा है। डॉ. निदारिया के काम संभालने के बाद अस्पताल में सिजेरियन डिलेवरी व बड़े ऑपरेशन फिर से प्रारंभ हो सकेंगे।
हर माह १०० से अधिक रैफर
जिला अस्पताल में एनेस्थिसिया के नहीं होने से हर माह १०० से अधिक मरीजों को रैफर किया जाता है। इनमें से ६० से ८० मरीज गर्भवती महिलाएं होती है। वहीं ३० से ४० एक्सीडेंटल केस होते है। एनेस्थिसिया नहीं होने से सीजर नहीं होने से मरीजों को रैफर किया जा रहा है। जिससे शाजापुर जिला अस्पताल पर रैफर का ठप्पा लगा हुआ है। जिला अस्पताल से पिछले कुछ माह में रैफर की गई गर्भवती महिलाओं की संख्या को देखा जाए तो हर दिन दो-तीन गर्भवती यहां से रैफर की जाती हैं।

इनका कहना
स्वास्थ्य खराब चल रहा है, इसलिए मेडिकल अवकाश पर हूं। अभी रिकवर हो रहा हूं, जल्द ही चार-पांच दिन में अस्पताल ज्वाइन कर लूंगा।
– डॉ. राजू निदानिया, निश्चेतना विशेषज्ञ
डॉ. निदानिया ज्वाइन करने के बाद जिला अस्पताल नहीं आए। उन्होंने मेडिकल अवकाश भेजा है।
– डॉ. एसडी जायसवाल, सिविल सर्जन

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