सोमवार की दोपहर डेढ़ बजे के आसपास भाजपा और कांग्रेस के बड़े नेताओं के साथ नागदा सहित आसपास के ग्रामीण एकत्रित होकर कलेक्ट्रेट पहुंचे और नारेबाजी की। इस दौरान ज्ञापन लेेने आए तहसीलदार संजय जैन को ग्रामीणों ने बताया कि प्रशासन भूमाफियाओं के दबाव में मेडिकल कॉलेज की जमीन को बदलना चाहता है और नागदा से हटाकर दूसरी जगह ले जाना चाह रहे हैं, लेकिन हम उन्हें सफल नहीं होने देंगे।
यही नहीं ग्रामीणों ने तहसीलदार से कहा कि हम आपको ज्ञापन नहीं देंगे, आप कलेक्टर को बुलाइए। कलेक्टर लंच के लिए चले गए थे, लिहाजा इंतजार में ग्रामीण और जनप्रतिनिधि व नेता कलेक्ट्रेट गेट पर ही बैठ गए। इस दौरान ग्रामीणों ने नारेबाजी की और कहा कि यदि मेडिकल कॉलेज की जगह नागदा से बदली गई तो हम आंदोलन करेंगे।
कलेक्टर आए, ग्रामीणों को किया आश्वस्त
लगभग आधा घंटे बाद कलेक्टर शिवम वर्मा कलेक्टे्रट पहुंचे। हालांकि पहले तो जनप्रतिनिधियों का प्रतिनिधि मंडल कलेक्टर से मिला और स्थितियों से अवगत कराया, लेकिन बाद में कलेक्टर वर्मा स्वयं गेट पर पहुंचे और ग्रामीणों से कहा कि मेडिकल कॉलेज की जमीन बदलने का कोई प्रस्ताव नहीं है और जो भी प्रक्रिया हम कर रहे हैं, पुरानी आवंटित जमीन पर ही की जा रही है। उन्होंने ये भी कहा कि जो कुछ चर्चाएं हैं, उसका भी हम खंडन जारी कर रहे हैं। इसके बाद ग्रामीण माने और ज्ञापन देकर लौट गए।