तीन लाख की आबादी में तलाशेंगे टीबी के मरीज
टीबी मरीजों को तलाशने के लिए यह अभियान पूरे जिले भर में चलाया जा रहा है। विभाग ने टीबी के मरीज तलाशने के लिए तीन लाख की आबादी को टारगेट किया है। इस आबादी में से 2 लाख 6 हजार मरीज तो ट्रायवल, सहरिया जनजाति है जबकि 1 लाख की अबादी ऐसे गांव हैं जहां पहुंचने का कोई रास्ता नहीं है और इससे पहले वहां कभी कोई सर्वे नहीं किया गया है।
डॉ आशीष व्यास ने बताया कि विभाग द्वारा गांव के अलावा शहरी क्षेत्र में भी टीबी के मरीजों की तलाश के लिए शहरी क्षेत्र की स्लम बस्तियों ठकुरपुरा, लुधावली, गौशाला, फतेहपुर, महल सराय, लालमाटी, कठमई आदि क्षेत्रों में भी एक्टिव केस फाइंडिंग कैम्पेन के तहत सर्वे कार्य कराया जा रहा है। डॉ व्यास के अनुसार हर क्षेत्र में दो से तीन टीबी के मरीज सामने आ रहे हैं।
सर्वे के लिए बनाई गईं 17 टीमें
जिले में टीबी रोगियों की पहचान करने के लिए किए जा रहे सर्वे कार्य के लिए 17 टीमों का गठन किया गया है। एक टीम में सदस्यों की संख्या तीन रहेगी। इन टीमों को जिलेभर में तीन लाख 6 हजार लोगों का सर्वे करने का टारगेट सौंपा गया है। जिसमें से 2 लाख के करीब आदिवासी क्षेत्र के लोगों का जांच कर बीमारी का पता लगाया जाएगा।
आज हमने नया बलारपुर गांव में हेल्थ कैंप लगवाया था। इसमें घर-घर जाकर सर्वे कार्य किया गया और लोगों का स्वास्थ्य परीक्षण कर उन्हें दबाएं उपलब्ध कराई गईं। इस दौरान कुपोषित बच्चे भी मिले, परंतु कोई इतना अधिक कुपोषित नहीं था कि उसे एनआरसी की जरूरत पड़े। इस दौरान टीबी के 20 संदिग्ध व एक कन्फर्म मरीज मिला है।
डॉ एएल शर्मा, सीएमएचओ, शिवपुरी