कलेक्टर ने कहा कि गर्मी शुरू हो चुकी है और कुछ स्थानों से पेयजल संकट की जानकारी भी मिलने लगी है। अगर अभी से ये हाल है तो भीषण गर्मी में क्या होगा। लिहाजा समय रहते सारे इंतजाम कर लेना ही श्रेयस्कर होगा। उन्होंने लोक स्वास्थ्य यात्रिकी विभाग के अधिकारियो को निर्देशित किया कि प्रत्येक गांव मे सर्वेक्षण कराकर यह जानकारी संकलित की जाय कि वहां पेयजल की स्थिती क्या है। गांव मे कितने हैंडपंप हैं और उनमें से कितने चालू हालत में है। कहा कि जो हैंडपंप बंद है उनके कारण का पता लगाएं साथ ही यह देखें कि खराब हैंडपंप में से कितनों की मरम्मत कर उनसे पानी हासिल किया जा सकता है। इसके बाद ऐसे हैंडपंप जो मरम्मत योग्य नही हैं, तो उस क्षेत्र के लिए अभी से वैकल्पि इंतजाम की व्यवस्था की जाए।
उन्होंने नल जल योजनाओ वाले गांवों का सर्वे कर पता लगाने को कहा कि यह देखें कि जिले में कहां कितनी नल जल योजनाएं संचालित हैं तथा किन स्थानो पर जल संकट पैदा हो सकता है। पूर्वानुमान के आधार पर ऐसे क्षेत्रों के लिए भी वैकल्पिक रोडमैप तैयार करें।
कलेक्टर ने सारी जानकारी प्रत्येक सप्ताह समय सीमा की बैठक मे प्रस्तुत करने का निर्देश दिया है।