शासन सचिव जैन ने श्रीगंगानगर, हनुमानगढ़, चूरू, सीकर और झुंझुनूं के जिला कलक्टर्स और पुलिस अधीक्षको को जारी किए गए इस आदेश में स्पष्ट रूप से बताया कि राजस्थान राज्य में पड़ौसी राज्यों पंजाब-हरियाणा से अवैध रूप से डीजल और पेट्रोल लाकर अनैतिक रूप से विक्रय किया जाने की शिकायतें इस विभाग को मिली है, इसे गंभीरता से से लिया जा रहा है।
इस आदेश में यह भी बताया कि मोटर स्पिरिट एंड हाई स्पीड डीजल ऑर्डर 2005 नई दिल्ली में प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए आवश्यक वस्तु अधिनियम 1955 के तहत जिले में होने वाले इन अनैतिक कार्यो की जांच कर सख्त कार्रवाई की जाएं। इस आदेश के बीस दिन बीतने के बावजूद अब तक कोई कार्रवाई नहीं हुई है।
इधर, इलाके के पेट्रोल पंप संचालकों का कहना है कि पंजाब और हरियाणा में पेट्रोल डीजल सस्ता है जबकि राजस्थान में यह महंगा है। प्राइवेट टैक्सी, प्राइवेट बस से जुड़े ऑपरेटर्स और वाहन मालिक सस्ते डीजल और पेट्रोल के लिए पंजाब और हरियाणा से रोजाना सैंकड़ों लीटर न केवल राजस्थान में ला रहे है बल्कि कई लोगों ने इस अवैध परिवहन को कारोबार का रूप दे दिया है।
श्रीगंगानगर से महज छह किमी दूर पर स्थित पंजाब सीमा में अंदर पेट्रोल डीजल का अवैध परिवहन सरेआम हो रहा है। इसे रोकने लिए रसद विभाग ने कानून की खामियों को बताकर कार्रवाई करना ही कम कर दिया है।
ज्ञात रहे कि आवश्यक वस्तु अधिनियम में उन वस्तुओं को शामिल किया गया है जो हमारे लिए सबसे ज़रूरी वस्तु होती हैं।
इसके तहत सरकार आवश्यक वस्तुओं के उत्पादन, आपूर्ति और वितरण को नियंत्रित करती है, जिससे यह वस्तुएँ उपभोक्ता को सामान्य दाम में और आसानी से प्राप्त हो सके। इस अधिनियम के तहत केंद्र सरकार राज्यों की स्टॉक लिमिट तय करने और जमाखोरों पर रोक लगाने का निर्देश देती है, ताकि चीजों की आपूर्ति प्रभावित नहीं हो और उचित मूल्य में वस्तु उपलब्ध हो सके।
सामान्य तौर पर केंद्र सरकार किसी वस्तु को जमा करने की अधिकतम समय-सीमा तय करती है और राज्य उस समयावधि के अन्दर कोई खास सीमा भी तय कर सकते हैं। ऐसी स्थिति में यदि राज्य और केन्द्र सरकार के बीच कोई विवाद होता है तो केन्द्र सरकार के नियम ही मान्य होंगे। इस कानून में पेट्रोलियम और उसके उत्पाद पेट्रोल, डीजल, केरोसिन, खाद्य पदार्थ, खाद्य तेल और बीज, दलहन, सब्जियां, धान, गन्ना और इसके उत्पाद जैसे चीनी और खांडसारी, जूट और वस्त्र, उर्वरक, मवेशियों के चारे, कोयला, ऑटोमोबाइल, ऑटोमोबाइल सामान, सूती और ऊनी वस्त्र, दवा,लोहा और इस्पात, कागज़, कच्चा कपास और कच्चा जूट आदि शामिल है।