रोडवेज प्रबंधन प्रत्येक सरकारी वाहन को फ्लाइंग में काम लिया जा रहा है। जिसके लिए वाहनों के रखरखाव और डीजल पर निगम का काफी पैसा खर्च हो रहा है और उस लिहाज से राजस्व का रिसवा नहीं थम रहा है। कई बार तो अधिकारी व फ्लाइंग टीम भी तय रूट की बजाए दूसरे रूट पर चली जाती है। वहीं, कई बस स्टैंड पर रूके बिना सीधी बाइपास चली जाती है। जिससे यात्रियों को परेशानी होती है। ऐसे में मुख्यालय की जीपीएस से सीधी नजर रहने पर फ्लाइंग में लगे अधिकारी व टीम के सदस्यों को सही तरीके से चैंकिंग करनी होगी। जिसे निगम का राजस्व में इजाफा होगा तथा प्रोपर मॉनिटरिंग भी रहेगी।
राजस्थान राज्य पथ परिवहन निगम के जनसंपर्क अधिकारी सुधीर भाटी का कहना है कि प्रदेश में नई खरीद की राडवेज की बसों में जीपीएस से कनेक्ट किया गया है। अब पहले फेज में सभी डिपो की फ्लाइंग और प्रबंधकों के वाहनों में जीपीएस लगाया जाएगा। इसकी प्रक्रिया चल रही है। जीपीएस से यह पता चलेगा कि मुख्यालय स्तर से निगम की बसें तय रूट से संचालित की जा रही है या नहीं। साथ ही बसें कहां खड़ी है और कितनी देर रुकती है। इसका टाइम टेबल सॉफ्टवेयर से मिलान किया जाएगा।
फैक्ट फाइल -राजस्थान राज्य पथ परिवहन निगम के राज्य में डिपो-52
-श्रीगंगानगर में राजस्थान राज्य पथ परिवहन निगम के डिपो-02 श्रीगंगानगर व अनूपगढ़। -निगम की बसों में राज्य में जीपीएस सिस्टम लगाया-875 निगम ने रोडवेज की नई बसों में जीपीएस सिस्टम लगाया गया है। इस नए सिस्टम से निगम की बसों पर सीधे मुख्यालय की नजर बनी रहेगी।
अवधेश शर्मा,मुख्य प्रबंधक, राजस्थान राज्य पथ परिवहन निगम,श्रीगंगानगर।