उनके साहस और शौर्य को सम्मान मिलने पर कस्बे के नागरिकों और बिश्रोई के परिजनों में खुशी का माहौल है। सुरजीतसिंह के भाई रिछपाल बिश्रोई और सुभाष बिश्रोई ने बताया कि सुरजीत सिंह में शुरू से ही कुछ बड़ा करने की लालसा थी। इसी उद्देश्य को पूरा करने के लिए वे बीएसएफ में शामिल हुए थे। उन्होंने बताया कि सुरजीतसिंह के रावला आने पर स्वागत किया जाएगा।