उल्लेखनीय है कि बस स्टैण्ड स्थित पुराना पशु-चिकित्सालय भवन छोटा पडऩे व जर्जर होने पर ग्रामीणों की मांग पर कालाकाकरा ढाणी के पास जमीन आवंटित करवा भवन निर्माण के लिए लाखों रुपए स्वीकृत किए।
read more: बीसलपुर में रही पर्यटकों की भीड़, शिवजी का जलाभिषेक कर नौकायन का लिया लुत्फ अब नए भवन का कई माह पूर्व निर्माण पूर्ण होने के बाद भी विभाग की ओर से पशु-चिकित्सालय नए भवन में स्थानांतरित नहीं किए जाने से कार्यरत चिकित्साकर्मियों को चारों मौसम की मार झेलनी पड़ रही है।
बारिश में जगह-जगह से टपकती छत को लेकर उठानी पड़ रही है। साथ ही भवन पुराना व जर्जर होने से हादसे की आशंका भी बनी हुई है। कार्यरत पशु-चिकित्सा सहायक रामदास धाकड़ ने बताया की नवीन भवन में पेयजल, मार्ग सहित अन्य समस्याएं है।
read more: video: जाना था ससुराल पहुंच गया थाने, ग्रामीणों ने चोर समझकर किया पुलिस के हवाले ठेकेदार से भवन के अंदर पेयजल लाइन फिटिंग व मार्ग के बीच से कचरों के ढेर व बबूलों को काटने के लिए कहा है। समस्या समाधान होते ही चिकित्सालय नवीन भवन में स्थानांतरित कर लिया जाएगा।
सहायक कर्मचारी के भरोसे प्रथम श्रेणी चिकित्सालय
उल्लेखनीय है की दूनी का प्रथम श्रेणी पशु चिकित्सालय कई माह से पशु चिकित्सा सहायक के भरोसे संचालित हो रहा है। मौसम परिवर्तन के साथ पशुओं में बढ़ रही बीमारियों सहित टीकाकरण को लेकर क्षेत्र के पशु पालकों को भटकना पड़ रहा है।
read more:Eid-ul-Juha : ईद-उल-जुहा की नमाज में उठे हजारों हाथ, देश में एकता व खुशहाली की मांगी दुआएं चिकित्सालय में चिकित्सक व पशुधन सहायक नहीं होने से पशुपालकों को निजी चिकित्साकर्मियों से पशुओं का उपचार व टीकाकरण कराना पड़ रहा है, जो की खतरे से कम नहीं है। गौरतलब है की चिकित्सालय में पांच पद स्वीकृत है इसमें मात्र दो ही कार्मिक कार्यरत है। वहीं चिकित्सक सहित तीन कार्मिकों के पद रिक्त चल रहे है।
उपनिदेशक पशुपालन टोंक ओमप्रकाश कोली का का कहना है कि एक चिकित्सक लगाया था, लेकिन अब तक ज्वाइन नहीं किया। उच्चाधिकारियों को पत्र लिखकर चिकित्सक सहित चिकित्साकर्मियों के रिक्त पद भरने की मांग करेंगे।