जिल में अभियान को लेकर 16 सितम्बर को नगरपरिषद के अग्निशमन केन्द्र में अधिकारियों एवं जनप्रतिनिधियों ने बैठक कर स्वच्छता ही सेवा को लेकर कार्यक्रम का खाका तैयार किया। दूसरे ही दिन जिले में सांसद, विधायक एवं जनप्रतिनिधि सहित अधिकारी उन स्थानों पर पहुंच गए जहां अमूमन अधिक गंदगी नहीं होती,
जमा पानी दे रहा रोगों को न्योता
बारिश थमने के एक माह बाद भी शहर समेत गांवों में कई स्थानों पर बारिश का पानी जमा है। इसके अलावा कई स्थानों पर उगी गाजर घास भी मच्छरों के पनपने की शरणस्थली बनी हुई है। चिकित्सा विभाग की ओर से जमा पानी में फोगिंग नहीं कराए जाने से हालात बिगडऩे का अंदेशा है। लोगों का कहना है हर वर्ष रोग फैलने के बाद ही विभाग हरकत में आता है। पहले से उपाय किए जाए तो मलेरिया, डेंगू आदि फैलने वाले कारणों पर अंकुश संभव है।
स्वच्छता ही सेवा अभियान अभी जारी है। सफाई कर्मचारी सभी जगह नियुक्त हैं। प्रमुख स्थानों पर सफाई लोगों को प्रेरणा देने के लिए की गई थी। यह सही बात है जिले में गंदगी एवं बीमारी का केन्द्र बने स्थानों की भी सफाई होनी चाहिए थी, अबकि बार ऐसे स्थानों की प्रमुखता से सफाई की जाएगी।
गणेश माहुर, जिलाध्यक्ष, भारतीय जनता पार्टी, टोंक
सफाई कराएंगे
यह सही बात है कि कुछ स्थानों पर गंदगी की भरमार है, जिसमें से भी धन्नातलाई, रेडियावास और तेलियों का तालाब कचरे से भरे हुए हैं। इनकी प्राथमिकता से सफाई करवाई जाएगी।
धर्मपाल चौधरी, नगर परिषद आयुक्त, टोंक
सुधार तो हुआ है
&विकास विहार कॉलोनी में पहले के मुकाबले सफाई में काफी सुधार हुआ है। हालांकि अभी भी व्यवस्था दुरुस्त कराए जाने की जरूरत है। पानी का उचित निकास नहीं है।
अनिता खण्डेलवाल, विकास विहार टोंक।
मेहंदीबाग क्षेत्र में कोई सरकारी नुमाइन्दा आकर भी नहीं देखता। चारों ओर गंदगी का आलम है। शिकायत के बावजूद सुनवाई नहीं हो रही।
कमलेश कुमावत, मेहंदीबाग टोंक।
यह है बीमारी के आंकड़े
रोग 2015 2016 2017
मलेरिया 78 57 36
डेगूं 784 228 10
स्वाइनफ्लू 146 01 32
चिकनगुनिया 01 16 04
स्क्रबटायफस 06 16 04