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उदयपुर

दुबई में थी सालाना लाखों की नौकरी, गांव लौटकर की खेती और अब बन गए दूसराेें के लिए मिसाल

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उदयपुरDec 24, 2018 / 05:35 pm

madhulika singh

farmer prabhulal

दुबई में थी सालाना लाखों की नौकरी, गांव लौटकर की खेती और अब बन गए दूसराेें के लिए मिसाल

उमेश मेनारिया/मेनार. खेती अब फायदे का सौदा नहीं। इस मिथक को तोड़ मेनार के एक युवा ने दुबई में सालाना लाखों की नौकरी छोड़ प्रेरणास्पद कार्य कर अन्य युवाओं को भी बेरोजगारी के इस दौर में नौकरियों के पीछे न भाग खेती के लिए प्रेरित किया है। विदेश में नौकरी कर 10 से 12 लाख रुपए सालाना कमाने वाला मेनार का युवा नौकरी छोडक़र खेती करने गांव वापस आ गया। आज यही शख्स न केवल खेती से लाखों का मुनाफा कमा रहा है । वही 12 महीने परिवार के सदस्यों के साथ रहने से खुश हैं। विदेश से लौटे प्रभु लाल मेनारिया स्वयं फसल कटाई एवं अन्य कृषि काम रुचि से कर रहे हैं।

दुबई में एक लाख प्रतिमाह कुकिंग का कार्य
प्रभुलाल नौंवी तक पढ़ाई कर नौकरी की तलाश में मुंबई, गुजरात, दिल्ली भटकने के बाद विदेश चला चले गए, जहां कुकिंग के काम में 1 लाख रुपए आय की नौकरी लगी । 10 साल विदेश में नौकरी करने के बाद 2017 में नौकरी छोड़ पुन: लौटे और गांव में शुरू की खेती, जिससे अब ये लाखों रुपए कमाई कर रहे हैं।
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विदेश में कार्यरत अन्य मित्रों को किया प्रेरित
वहीं प्रभु लाल की देखादेखी अन्य गांवों के किसान भी खेती देखकर उत्साहित हुए। ऐसे में प्रभु लाल ने अन्य मित्रों को भी खेती के लिए प्रेरित किया, जो विदेश में कार्यरत हैं। विदेशी से नौकरी छोडक़र प्रभु लाल ने न केवल अपने गांव बल्कि अन्य किसानों के लिए भी एक मिसाल पेश की है।

आरंभ में संघर्ष पर हार नही मानी
6 बीघा जमीन पर ना तो पानी था और न ही बिजली कनेक्शन। ऐसे में नौकरी छोडक़र खेती करना इतना आसान नहीं था। सर्व प्रथम तारबंदी करवा कर 2 लाख की लागत से सोलर प्लांट लगवाया फिरर पानी के लिए 350 फिट के 6 बोरिंग कराए। अंत में 7 वें प्रयास में पानी हुआ । तब कहीं जाकर फसल बोना शुरू हुई। संघर्ष के बावजूद भी प्रभुलाल ने हार नहीं मानी । प्रभु लाल ने 2017 में नया सफर शुरू किया। खीरा ककड़ी, पपीता, भिंडी, टमाटर, लोकी, धनिया, मैथी, प्याज, मिर्च के साथ कुछ भाग में पारंपरिक फसले गेहूं, मक्का, सरसो बोई जिससे अब तक कुल 3 लाख रुपए तक की आय हो चुकी है।

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