भगवान जगदीश को देखना है सावन के लहरिया शृृंगार में तो उदयपुर के इस मंंदिर में करें दर्शन
‘झूलन पधारो हरिया कुंज में सांवरा’ हाे रहे हे मंदिरों में विशेष आयोजन
उदयपुर•Jul 19, 2019 / 06:32 pm•
Pramod
‘झूलन पधारो हरिया कुंज में सांवराÓ हाे रहे हे मंदिरों में विशेष आयोजन
प्रमोद सोनी/ उदयपुर. श्रावण कृष्ण प्रतिपदा श्रावणी बीज पर गुरुवार को विशेष आयोजन हुए। शिवालयों में महादेव का अभिषेक व पूजन किया गया। वैष्णव मंदिरों में हिंडोलने के दर्शन शुरू हुए। मंदिरों में भक्तों की भीड़ रही। श्रावण मास के गीतों का गान हुआ। शुक्रवार को श्रावण मास की पहली तीज पर विशेष आयोजन होंगे।जगदीश मंदिर, श्रीनाथ मंदिर सहित अन्य मंदिरों में श्रावण मास के मनोरथ के तहत हिंडोलनों में भगवान के दर्शन हुए। गुरुवार को श्रावण बीज पर जगदीश मंदिर में ठाकुरजी का विशेष हरे रंग का शृंगार धराया गया। लक्ष्मीजी को लहरिये का शृंगार धराया गया। इस दौरान मंदिरों में भक्तों ने श्रावणी गीत ‘सुनो सांवरा म्हाने मंगवाई दो लहरियो काली कोर रो…’, ‘ओढ़ लहरियो झूलन चालां मन में उमंग भई मनमौर रो…’, ‘लाग्यो- लाग्यो श्रावण मास कुंवर कान्हा रे, झूलन पधारो हरिया कुंज में सावरा…’ गाए गए।पुजारी हुकमराज, रामगोपाल ने बताया कि श्रावणी बीज पर मंदिर में ठाकुरजी को शाम कांच के डंको के झूले में झुलाया गया। राधा कृष्ण की जुगल जोड़ी व लालन को झूले में झुलाया गया। शुक्रवार को श्रावण मास की पहली तीज पर विशेष कार्यक्रम होगा। शाम 7.30 से 10.30 बजे तक झूले के दर्शन होंगे।श्रीनाथ मंदिर में श्रावण मास शुक्रवार से शुरू हुआ। मंदिर अधिकारी कैलाश पुरोहित ने बताया कि ग्रहण के कारण मंदिर में गुरुवार को श्रावण मास के मनोरथ शुरू हुए, जो पूरे माह चलेेंगे। इस अवसर पर शाम को 6.30 बजे से ठाकुरजी के हिंडोलने के दर्शन शुरू हुए, जो शाम 7.15 तक खुले रहे। शाम को मंदिर के डोल की तिबारी में चांदी के हिंडोलने का रोपण हुआ। जिसमें ठाकुरजी मदनमोहनजी को झूले में झुलाया गया।
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