एनटीए ने लिया सबक, तमिलनाडु में हुए थे फेल नेशनल टेस्टिंग एजेंसी, एनटीए की ओर से नीट 2019 में सख्ती के बावजूद तमिलनाडु में फर्जी अभ्यर्थी सफ ल रहे थे। वहां करीब छह हजार संदिग्ध स्टूडेंट्स के एंट्रेंस टेस्ट देने पर सवाल खडे़ हुए, जिसके बाद कई बदलाव किए गए। ऐसे लोगों पर अंकुश लगाने के लिए डिजिटल निगरानी व्यवस्था का उपयोग किया गया। एनटीए बायोमेट्रिक का पूरा डाटा केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय को देगा। इसके बाद मंत्रालय राज्यों को कांउसलिंग में मिलान के लिए उपलब्ध कराएगा। मेडिकल कॉलेजों को भी हिदायत दी जाएगी कि वे छात्र का बायोमेट्रिक मिलान करें कि परीक्षा, काउंसलिंग और कक्षा में पहुंचने वाला छात्र एक ही हो।
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पहली बार नीट के आवेदन पत्र में छात्रों को 10वीं और 12वीं का रोल नंबर भी लिखना होगा। एनटीए इस रोल नंबर के जरिये नीट में आवेदनकर्ता के हस्ताक्षर, फोटो, अंगूठे के निशान की जांच करेगा। एनटीए ने सॉफ्टवेयर तैयार किया है। किसी छात्र के बारे में शक होने पर उसकी 10वीं व 12वीं की आंसरशीट भी जांची जाएगी।
प्रवेश परीक्षा के आवेदन शुरू देशभर के 532 सरकारी व निजी मेडिकल कॉलेजों, एम्स में डॉक्टरी में दाखिले के लिए नेशनल टेस्टिंग एजेंसी की तैयारियां पूरी हो गई हैं। वेबसाइट पर 2 दिसंबर से दाखिला प्रवेश परीक्षा के लिए आवेदन की विंडो ओपन हो चुकी है। विद्यार्थी 31 दिसंबर तक आवेदन पत्र दाखिल कर सकेंगे। प्रवेश परीक्षा तीन मई और रिजल्ट चार जून को आएगा। 154 शहरों में 2546 केंद्रों पर परीक्षा होगी।
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– विद्यार्थियों को रजिस्ट्रेशन फ ॉर्म में लाइव फ ोटो अपलोड करनी पड़ रही है। स्टूडेंट्स आवेदन भरते समय फ ोटो खींचकर अपलोड कर रहा है। – विद्यार्थी रजिस्ट्रेशन के समय जो आईडेंडिटी कार्ड अपलोड करेगा, परीक्षा केंद्र पर वही लेकर जाना होगा।
– एनटीए की ओर से प्रवेश पत्र जारी होने के बाद 12वीं के स्टूडेंट्स के लिए फि र से रजिस्ट्रेशन विंडो ओपन किया जाएगा, ताकि वे अपना रोल नंबर भर सके। बोर्ड की क्लासेज के एडमिट कार्ड, नीट रजिस्ट्रेशन के बाद जारी होते हैं।
यह रहता है नीट का पैटर्न नीट परीक्षा 3 घंटे की होती है। इस पेपर में तीन सेक्शन होते हैं। फि जिक्स, केमिस्ट्री और बायोलॉजी तीनों सेक्शन से कुल 180 सवाल होते हैं। इसमें से 90 सवाल बायोलॉजी, 45-45 फिजिक्स व केमिस्ट्री से होंगे। तैयारी के लिहाज से देखा जाए तो सिलेबस में 11वीं, 12वीं कक्षा का मेटर महत्वपूर्ण होता है। नीट के पेपर में निगेटिव मार्किंग होती है। हर सही जवाब के लिए ४ नंबर दिए जाते हैं, तो हर गलत जवाब के लिए 1 नंबर काटा जाता है। जो सवाल अटेंप्ट नहीं किए जाते हैं, उनके लिए नंबर नहीं काटे जाते। नीट 2019 में 15 लाख कैंडिडेट्स उपस्थित हुए थे, ये टेस्ट 5 मई को हुआ था।
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डॉ. लाखन पोसवाल, प्रधानाचार्य, आरएनटी मेडिकल कॉलेज उदयपुर