ग्रामीणों को दी गई जानकारी
उमरिया•Jun 22, 2022 / 05:45 pm•
ayazuddin siddiqui
Wild elephants could not harm, so the training was given
उमरिया. रविवार को वनमंडल उमरिया अंतर्गत मझगवां रोपणी में वनपरिक्षेत्र घुनघुटी, पाली एवं नौरोजाबाद के कर्मचारियों को जंगली हाथियों से बचने एवं गांव में घुसने से रोकने के संबंध में प्रशिक्षण दिया गया। प्रशिक्षण में डीएफओ ने ग्रामीणों व कर्मचारियों को हाथियों के प्रति जागरूक रहने व अन्य साथियों को भी जागरूक करने के संबंध में बताया गया। साथ ही ग्रामीणों के सहयोग से हाथी मित्र दल ग्राम स्तर पर बनाने ग्रामीणों को जानकारी दी गई।
इस मौके पर असम टीम के हितेन ने पीपीटी के माध्यम से हाथियों की उपस्थिति, उनके व्यवहार के बारे में विस्तृत से बताया। उन्होंने हाथियों के गांव में घुसने, मानव पर हमला करने एवं फसलों को नुकसान पहुंचने के कारणों को बताते हुए बचाव के संबंध में बताया गया। वहीं दाबीर हसन व डेविड स्मिथ ने भी जानकारी साझा की।
प्रशिक्षण के द्वितीय भाग में टीम के उपेन्द्र दुबे, संदीप चौकसे ने हाथियों को भगाने के तरीके बताए। उन्होंने बताया कि तम्बाकू व मिर्च, जले हुए तेल/ग्रीस के माध्यम से कपड़ों में लेप लगाने तथा तम्बाकू व लाल मिर्च के धुएं से हाथी को ग्रामों में घुसने से रोकने डेमो दिखाया गया। साथ ही डीसी विद्युत के विशिष्ट उपकरण से खेत या घर के चारों तरफ बांध कर हल्का करंट फैलाने का डेमो कर प्रशिक्षण दिया गया। अंत में वनमण्डलाधिकारी उमरिया व टीम ने वन कर्मचारियों को वन्यप्राणी की सुरक्षा व गश्ती कार्य के लिए गमबूट एवं रैनकोट प्रदाय किया गया।
उल्लेखनीय है कि बीते कुछ दिनों में हाथियों ने काफी नुकसान पहुंचाया है। इस दौरान कई लोगों की मौत भी हो चुकी है। आए दिन जंगली हाथियों का गांवों में प्रवेश करना मानव जीवन के बड़ा खतरा है। इसे रोकने के लिए वन विभाग ने यह फैसला लिया कि ग्रामीणों को जागरूक करके उन्हें इनसे बचने का प्रशिक्षण दिया और जंगली हाथियों से बचाया जा सके। ऐसा मानना है कि अगर ग्रामीण जागरूक हो गए तो जंगली हाथियों के हमले कम हो जाएंगे और इससे उनके जान व माल दोनों की हिफाजत हो सकेगी।