फर्रुखाबाद

यूपी के 62 कुख्यात कैदियों को फतेहगढ़ जेल में किया गया ट्रांसफर, कई नियम बदले

Fatehgarh Central Jail: प्रदेश की विभिन्न जेलों से 62 कुख्यात कैदियों को फतेहगढ़ सेंट्रल जेल भेज दिया गया। कैदियों की सीसीटीवी कैमरों से 24 घंटे निगरानी की जा रही है।

फर्रुखाबादMar 09, 2023 / 07:49 pm

Adarsh Shivam

फतेहगढ़ सेंट्रल जेल

यूपी की विभिन्न जेलों से 62 कुख्यात कैदियों को प्रशासनिक आधार पर फतेहगढ़ सेंट्रल जेल में ट्रांसफर किया गया है। कैदियों की संवेदनशीलता के अनुसार उन्हें हाई सिक्योरिटी मीडियम सिक्योरिटी और आइसोलेशन सेल में रखा गया है। अति संवेदनशील कैदियों की सीसीटीवी कैमरों से 24 घंटे निगरानी की जा रही है।
इसके साथ ही संवेदनशील और अति संवेदनशील कैदियों से मुलाकात के लिए दिन भी तय कर दिया गया है। मंगलवार को संवेदनशील कैदी और शुक्रवार को अति संवेदनशील कैदियों से उनके परिजनों की मुलाकात कराई जाएगी।
मुलाकात के नियमों में हुआ बड़ा बदलाव
कैदियों से मिलने आने वालों की मुलाकात कड़ी जांच के बाद कराई जाएगी। इसका विवरण ”प्रिजन साफ्टवेयर” पर अपलोड किया जाएगा। जेल में मुलाकात के नियमों में बदलाव किया गया है। सामान्य बंदियों की मुलाकात 15 दिन में दो बार कराने का नियम लागू किया गया है। रविवार को कैदियों से मुलाकात बंद रहेगी।
स्टाफ की कमी से जूझ रही फतेहगढ़ सेंट्रल जेल
केंद्रीय कारागार के वरिष्ठ अधीक्षक पीएन पांडेय ने बताया, “वर्तमान में लगभग 1100 कैदी हैं। जेल में उपलब्ध नियतन और उसके सापेक्ष तैनाती का पूरा विवरण आनलाइन रहता है। मांगे जाने पर इसका विवरण शासन को अलग से उपलब्ध भी कराया जाता है। उपलब्ध स्टाफ से ही बेहतर सुरक्षा व्यवस्था तैयार की गई है। जेल गेट पर पीएसी की तैनाती रहती है।”
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फतेहगढ़ सेंट्रल जेल में वरिष्ठ अधीक्षक और अधीक्षक के एक-एक पद के अलावा जेलर के तीन और डिप्टी जेलर के 12 पद है, लेकिन वर्तमान में अधीक्षक और एक जेलर का पद रिक्त चल रहा है। मात्र 4 ही डिप्टी जेलर मौजूद हैं। वार्डर और हेड वार्डर के भी लगभग 30 प्रतिशत पद रिक्त चल रहे हैं।
सुभाष ठाकुर का एक साल से BHU अस्पताल में चल रहा इलाज
प्रदेश के टाप टेन कुख्यातों में से एक निरुद्ध सुभाष ठाकुर का लगभग एक साल से बनारस हिंदू विश्वविद्यालय के अस्पताल में इलाज चल रहा है। वह फतेहगढ़ कारागार में बंद था। केंद्रीय कारागार के वरिष्ठ अधीक्षक बताते हैं कि समय-समय पर अस्पताल से पत्राचार किया जाता है। अस्पताल के मेडिकल बोर्ड की ओर से फिलहाल उनके पूर्ण स्वस्थ न होने और इलाज जारी होने की सूचना दी गई है।
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