दोपहर में कॉलेज के हाल में सिविल लाइन थाना प्रभारी राजेश सिन्हा बच्चों को व्यावहारिक ज्ञान देते दिखाई दिए। उन्होंने विद्यार्थियों को नशा एवं नशा के दुष्परिणामों के बारे में बताया। इस दौरान उन्होंने ट्रैफिक नियमों की जानकारी भी दी। इस दौरान विद्यार्थियों ने कई सवाल भी किए जिसका उन्होंने समाधान किया। वहीं कॉलेज डायरेक्टर जेएस चौहान सहित अन्य लोगों ने भी विद्यार्थियों को जीवन में संस्कारित रहने, समाज एवं देश हित में अपना योगदान देने व अन्य महापुरुषों के जरिए विद्यार्थियों को सही दिशा में चलने के लिए प्र्रेरत किया।
तीन हफ्ते चलेगा
कॉलेज प्रबंधन के अनुसार इस वर्ष प्रथम वर्ष में 540 विद्यार्थी प्रवेश ले चुके और अभी यह क्रम जारी है। विद्यार्थियों के लिए तीन हफ्ते यही सब चलेगा। इस दौरान विद्यार्थी अपने कॉलेज परिसर से परिचित होंगे। शहर के बाजार व प्रमुख स्थानों से परिचित होंगे। आसपास की पुरातत्व धरोहरों से उनकी पहचान कराई जाएगी। धर्मगुरुओं व विभिन्न विषय विशेषज्ञों को उद्बोधन व सीख उन्हें मिलेगी। उद्देश्य यही कि विद्यार्थी इंजीनियरिंग के साथ जीवन के मायने भी समझे। वे आत्मविश्वास से भरे हों। उनमें संवेदनशीलता हो, समाजसेवी की भावना हो। वे रिश्तों की पवित्रता को समझें और संस्कारित रहें। 24 अगस्त तक विद्यार्थियों को इसी तरह के ज्ञानवर्धक व खेल गतिविधियों से जोड़े रखा जाएगा। इसके बाद इनकी कक्षाएं शुरू होंगी।
कॉलेज प्रबंधन के अनुसार इस वर्ष प्रथम वर्ष में 540 विद्यार्थी प्रवेश ले चुके और अभी यह क्रम जारी है। विद्यार्थियों के लिए तीन हफ्ते यही सब चलेगा। इस दौरान विद्यार्थी अपने कॉलेज परिसर से परिचित होंगे। शहर के बाजार व प्रमुख स्थानों से परिचित होंगे। आसपास की पुरातत्व धरोहरों से उनकी पहचान कराई जाएगी। धर्मगुरुओं व विभिन्न विषय विशेषज्ञों को उद्बोधन व सीख उन्हें मिलेगी। उद्देश्य यही कि विद्यार्थी इंजीनियरिंग के साथ जीवन के मायने भी समझे। वे आत्मविश्वास से भरे हों। उनमें संवेदनशीलता हो, समाजसेवी की भावना हो। वे रिश्तों की पवित्रता को समझें और संस्कारित रहें। 24 अगस्त तक विद्यार्थियों को इसी तरह के ज्ञानवर्धक व खेल गतिविधियों से जोड़े रखा जाएगा। इसके बाद इनकी कक्षाएं शुरू होंगी।
इन खेलों में ले रहे हिस्सेदारी
सुबह योग क्लास में यह सभी विद्यार्थी उत्साह से शामिल हो रहे और शाम को पूरे परिसर में खेल गतिविधियां देखने को मिल रही है। यहां बास्केट बॉल, हैंडबॉल, कबड्डी, खो-खो, ताईक्वांडो, क्रिकेट, फुटबॉल, वालीबॉल, हाकी, बेडमिंटन, जूडो, मलखम, कराते, टेबिल टेनिस, एथलेटिक्स, कैरम आदि खेल में अपनी हिस्सेदारी निभा रहे। इन सभी खेलों केे लिए अलग-अलग कोच की व्यवस्था भी प्रबंधन ने की है।
सुबह योग क्लास में यह सभी विद्यार्थी उत्साह से शामिल हो रहे और शाम को पूरे परिसर में खेल गतिविधियां देखने को मिल रही है। यहां बास्केट बॉल, हैंडबॉल, कबड्डी, खो-खो, ताईक्वांडो, क्रिकेट, फुटबॉल, वालीबॉल, हाकी, बेडमिंटन, जूडो, मलखम, कराते, टेबिल टेनिस, एथलेटिक्स, कैरम आदि खेल में अपनी हिस्सेदारी निभा रहे। इन सभी खेलों केे लिए अलग-अलग कोच की व्यवस्था भी प्रबंधन ने की है।
विद्यार्थियों का जीवन किताबें, स्कूल व कोचिंग तक सिमट कर रह गया। उसे समझकर कॉलेज में यह गतिविधियां शुरू की गई है। इसके जरिए विद्यार्थियों को पढ़ाई के लिए अच्छा वातातरण व नई दिशा मिलेगी।
-डॉ. जेएस चौहान, डायरेक्टर, एसएटीआई
-डॉ. जेएस चौहान, डायरेक्टर, एसएटीआई