मंदिर को तोड़ने की खबरों से गुस्साए हिन्दू युवा वाहिनी के सदस्यों सहित कई ग्रामीणों ने एरा कम्पनी के जीएम को ज़बरदस्त विरोध किया और उसका पुतला भी फूंका गया। लोगों की मांग की थी कि मंदिर को उसी जगह रहने दिया जाए नहीं तो प्रशासन को इसका खामियाज़ा भुगतना पड़ेगा। हंगामे को देखते हुए क्षेत्र के एसडीएम सत्यश्री सिंह ने पूरे मामले की रिपोर्ट डीएम को भी पहुंचा दी थी। मंदिर को तोड़ने को लेकर क्षेत्र में फैले तनाव को लेकर हाईकमान मीटिंग भी हुई।
शाहजहांपुर के थाना तिलहर में नेशनल हाइवे-24 पर बने इस 130 साल पुराने मंदिर का नाम कचियानी खेड़ा मंदिर है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक सड़क को चौड़ा करने के लिए एरा कम्पनी मंदिर को तोड़ना चाहती थी। लेकिन कंपनी का यह फैसला लोगों के साथ-साथ खुद भगवान को भी रास नहीं आया, लिहाज़ा बीते तीन दिनों से मंदिर को तोड़कर बजरंगबली की विशाल मूर्ति को तोड़ने में कंपनी के पसीने छूट गए। बता दें कि कंपनी के इस प्रयास में मूर्ति का कुछ हिस्सा खंडित कर दिया गया, लेकिन वे मूर्ति को जगह से हटाने में अभी तक कामयाब नहीं हो पाए।
मूर्ति की जादूई शक्ति को देखते हुए श्रद्धालुओं में भगवान बजरंग बली को लेकर आस्था और भी मज़बूत हो गई। क्षेत्र के लोग मंदिर में भगवान बजरंग बली का आवास मानने लगे, उनका मानना है कि इस मंदिर में साक्षात भगवान हनुमान निवास करते हैं। और उनकी इच्छा के बगैर कोई भी इस मंदिर को नहीं तोड़ सकता।