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आगरा की एयर कनेक्टिविटी को लेकर आरटीआई में हुआ ये बड़ा खुलासा, जानने के लिए पढ़ें ये खबर

सिविल सोसाइटी ने डाली थी आरटीआई।

आगराApr 10, 2018 / 04:23 pm

धीरेंद्र यादव

civil society

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आगरा। आगरा की एयर कनेक्टिविटी की लगातार मांग बनी रही है, किन्‍तु यहां की आवाज दिल्‍ली और लखनऊ में बेहद कमजोर हो जाने से इसके जायज हक भी अनेदेखा किया जाता रहा है। यही नही नकारात्‍मक प्रचार भी किया जाता रहा है, जिसका प्रत्‍यक्ष असर आगरा के टूरिजम ट्रेड पर पड़ता रहा है, जबकि अपरोक्ष असर तो अन्‍य सभी उद्योगों, सेवा क्षेत्रों और जन जीवन पर पड़ा है। इसी वास्तविक स्थिति को नागरिकों के सामने लाने के प्रयास में न केवल संबधित मंत्रालयों में पीठा सीनों को पत्र लिखे हैं, साथ ही उठाये गये प्रश्‍नों को ‘जनसूचना का अधिकार ‘ के तहत अधिकतम सटीकता के साथ प्राप्‍त करने का प्रयास भी किया गया है। व्‍यापक हितों से जुड़े जो प्रश्‍न पत्रों को लिखकर व आरटीआई के माध्‍यम से जानने का प्रयास किया गया है, वे इस प्रकार से हैं:–

1. सिविल एन्‍कलेव आगरा में जो निवेश एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया का है, वह घाटे का साबित हो रहा है। जिसका मुख्‍य कारण यहां की क्षमता और ढ़ांचागत सुविधाओं के अनुरूप यहां नेशनल और इंटरनेशनल शैड्यूल्‍ड फ्लाइटों की संख्‍या कम होना रहा है।
2. क्‍या यह सही नहीं है कि जयपुर –आगरा के बीच इसी साल शुरू हुई शैड्यूल्‍ड फ्लाइट में यात्रियों की संख्‍या में निरंतर बढ़ोत्‍तरी होती रही, जबकि इस फ्लाइट के शुरू होने का सीमित ही प्रचार हुआ था तथा कुछ कुछ दिनों के अंतराल में फ्लाइट की नियमित्‍ता में व्‍यवधान भी आते रहे थे। फलस्‍वरूप स्‍वत: ही यह स्‍पष्‍ट हो गया है कि आगरा की एयर कनेक्टिविटी बढ़ाये जाने की भरपूर संभावनाओं को अदूदर्शिता से या कूट रचनाकारों के कारण नकारा जाता रहा है।
3. जयपुर और आगरा देखने वाले शुरू हुई नई शैड्यूल्‍ड फ्लाइट का इस्‍तेमाल करना समय और धन दोनों के हिसाब से कम खर्चीला तथा समय बचाने वाला मान रहे हैं, तो फिर सरकार और एवीएशन मिनिस्‍ट्री के द्वारा क्‍या हाल में तीन सालों मे आगरा –जयपुर एयरपोर्टों की क्षमताओं का अधिकतम उपयोग संभव करने के संबध में कभी एएआई से पूछा गया है।
4. इन्‍द्रा गांधी इंटरनेशनल एयरपोर्ट की क्षमता पूर्ण हो जाने के बाद एयरपोर्ट अथॉर्टी आॅफ इंडिया ने आगरा के सिविल एन्‍कलेव को विकल्‍प के रूप में क्‍या सिविल एवीऐशन एक्‍टिविटीज बढ़ाने के लिए पेश किया, आगरा नहीं तो क्‍यों। जब कि यहां डौमेस्‍टिक और इंटरनेशनल फ्लाइटों के लिये पर्याप्‍त सुविधाएं मौजूदा हैं और उनमें से चौथाई का भी उपयोग नहीं हो पा रहा है।
5. जब ताजमहल घूमने वाले पर्यटक और स्‍थानीय नागरिक आगे की यात्रा की जरूरत के लिये इन्‍द्रा गांधी एयरपोर्ट इस्‍तेमाल कर सकते हैं तो फिर आगरा एयरपोर्ट के इस्‍तेमाल की संभावनाओं को लेकर अब तक क्‍यों संकीर्ण रवैया रहा है।
6. आगरा सिविल एयर एन्‍कलेव के घाटे को लेकर सरकार/ नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने अपनी ओर से पहल कर क्‍या कभी कोई योजना प्रस्‍तावित की है या फिर एयरपोर्ट अथॉर्टी से ही इसके लिये पूछा है।
7. अगर कोई योजना प्रस्‍तावित की है या फिर उसके क्रियान्‍वियन में व्‍यवधान का कोई कारण रहा है तो उसकी जानकारी दें। यदि नहीं तो एवियेशन कारोबार के लिये व्‍यापक संभावना वाले शहर के एयरपोर्ट को घाटे में ही चलाये रखने का क्‍या प्रयोजन है। पब्‍लिक टैक्‍स से संचालित जनमहत्‍व के इस स्‍थान को निरंतर घाटे में बनाये रखना राज्‍य राष्‍ट्र ही नहीं स्‍थानीय आर्थिक व्‍यवस्‍था को दृष्‍टिगत किस प्रकार से औचित्‍य पूर्ण ठहराया जा सकता है।
8. सिविल सोसाइटी ऑफ़ आगरा ने आगरा के दोनों सांसदों को पत्र लिख कर उनको आगरा में एयर कनेक्टिविटी पर फॉलो अप करने का अनुरोध किया है।

9. साथ में सिविल सोसाइटी ने आगरा के व्यपारिक संस्थाओं को आगे आकर अपने सिटी के डवलपमेंट के लिये आगे आना होगा, अगर अब चुप रहे तो मौका चूक जाएंगे। प्रेस वार्ता को अनिल शर्मा, राजीव सक्सेना और शिरोमणि सिंह ने संबोधित किया।
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