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अजमेर

नौका संचालन का ठेका देरी से देने से निगम को 43 लाख का नुकसान!

आरटीआई कार्यकर्ताओं ने लगाए आरोप
नगर निगम अजमेर

अजमेरJul 20, 2019 / 10:08 pm

bhupendra singh

Deficit loss of contract of boats by corporation to 43 million

nagar nigam

अजमेर. आनासागर झील में कथित रूप से नाव संचालन का ठेका देरी से देने के मामले में 43 लाख रुपए का नुकसान(Deficit loss of contract) हुआ है। पुराना ठेका जून में समाप्त हो चुका है जबकि नया ठेका अब तक जारी ही नहीं किया गया। आरटीआई (rti) कार्यकर्ताओं ने प्रेसवार्ता में आरोप लगाया गया कि आनासागर झील में नाव के ठेके को लेकर पिछले 6 माह से ऊहापोह की स्थिति है। इससे निगम को आर्थिक नुकसान हो रहा है। जिम्मेदार कार्मिकों से इसकी वसूली की जाए। आरटीआई कार्यकर्ता तरुण अग्रवाल के अनुसार झील में नाव संचालन का ठेका 48 लाख 59 हजार रुपए में दियाया गा था 24 नाव चलाई जा रही थीं। यह ठेका मार्च 2019 में समाप्त होना था इसकी प्रक्रिया जनवरी में ही शुरु हो गई थी एम्पावर्ड कमेटी ने भी इसकी मंजूरी दे दी थी। बाद में इस ठेके को जून 2019 तक के लिए बढ़ा दिया गया। Deficit loss of contract of boats by corporation to 43 million!
नए ठेके की प्रकिया भी विवादित
आरोप है कि नए ठेके के लिए निविदा विज्ञप्ति, शर्ते आदि पोर्टल पर अपलोड करने के बाद 20 जून को सफल निविदाकार यह अम्यूजमेंट के पत्र पर शर्तो में बदलाव किया गया। 22 जून को कोरिजेंडम जारी कर दिया गया। 2 अतिरिक्त नाव टापू तक चलाने की शर्त को हटा दिया गया लेकिन बाद में इन 2 नावों के संचालन की शर्त को फिर जोड़ दिया गया। इसके पीछे कारण स्पष्ट नहीं है। अजमेर में नहीं होने के बावजूद उप महापौर ने नाव का ठेका देने के लिए अवधि को सात दिन के लिए बढ़वाया। इस पर सांखला के हस्ताक्षर भी नही हैं। आयुक्त ने इस पत्र को स्वीकार कर सात दिन के लिए प्रक्रिया को आगे बढ़ा दिया गया। झील में नाव संचालन के लिए अब तक ठेका नहीं दिया जा सका। निगम को लाखों के राजस्व की हानि हो रही है वहीं पर्यटक झील में नौकायन की सुविधा से वंचित हो रहे हैं।
इनका कहना है
ठेका नियमानुसार प्रक्रिया अपनाते हुए दिया गया है। नगर निगम को किसी तरह का नुकसान नही हुआ है। वर्तमान ठेका तीन गुना अधिक दर पर दिया गया है इससे निगम को फायदा हुआ है। बेवजह आरोप लगाए जा रहे हैं ।-चिन्मयी गोपाल, आयुक्त नगर निगम अजमेर

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