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अजमेर

धीमे स्मॉग की चपेट में अजमेर, ट्रेफिक पुलिस के जवानों पर मंडराया खतरा

वाहनों से उत्सर्जित धुआं उन्हें दिन-ब-दिन बीमार बना रहा है। जवानों श्वास, फेफड़े व आंखों में जलन जैसी बीमारी से ग्रसित है।

अजमेरDec 05, 2017 / 08:39 am

manish Singh

police cop sick from pollution

police cop sick from pollution

मनीष कुमार सिंह/अजमेर।

शहर की यातायात व्यवस्था को चलाने वाले यातायात पुलिस के जवानों के सांस में भी जहरीला धुआं घुल रहा है। विभिन्न चौराहा पर ड्यूटी के दौरान वाहनों से उत्सर्जित धुआं उन्हें दिन-ब-दिन बीमार बना रहा है। हालात यह है कि अधिकांश जवानों श्वास, फेफड़े व आंखों में जलन जैसी बीमारी से ग्रसित है। यह खुलासा गत दिनों यातायात पुलिस के लिए लगाए गए चिकित्सा शिविर में हुआ।
धुआं उगलते वाहन का सीधा असर शहर यातायात पुलिस के जवानों पर पड़ा है। चौबीस घंटे में से 12 घंटे शहर की यातायात व्यवस्था में जुटे रहने वाले जवान धुआं उगलते वाहनों के बीच गुजारते हैं। इसका असर धीरे-धीरे स्वास्थ्य पर नजर आने लगता है। गत दिनों शहर के निजी अस्पताल में यातायात पुलिस के जवानों के लिए लगाए स्वास्थ्य जांच शिविर में भी अधिकांश जवानों के फेफड़ों में कार्बन की मात्रा अत्यधिक पाई गई थी।
अधिकांश श्वास रोग से पीडि़त निकला जबकि कुछ चर्म रोग से ग्रस्त पाए गए। हालांकि चिकित्सक परामर्श के बाद उन्हें बचाव के उपाय भी बताए गए लेकिन शहर के सड़क, चौराहों पर फैलते प्रदूषण से दिन पे दिन हालात बिगड़ते जा रहे हैं। नाम मात्र के मास्क
यूं तो यातायात पुलिस के जवानों को मास्क दिया जाता है लेकिन यह व्यवस्था कुछ दिन ही रह पाती है। ऐसे में शहर की सड़कों पर उड़ती धुल, धुएं के बीच जवान ड्यूटी करने को मजबूर है।
दिनभर रहता है धूल-धुआं

सुबह से शाम तक चौराहों पर खड़े रहने से यातायात पुलिसकर्मियों के चेहरे पर चिकना काला पदार्थ जम जाता है। मुंह, नाक में सांस के जरिए काला धुआं चला जाता है जिसका एहसास दूसरे दिन सुबह उठने पर होता है। धुएं से आंखों में जलन होती है। ट्रेफिक पुलिस में आने के बाद आंखों पर चश्मा चढ़ गया।
-मुकेश, यातायात पुलिसकर्मी
धुल, धुएं के माहौल में ज्यादा काम करने वाले अस्थमा, सीओपीडी से ग्रस्त हो जाते हैं। लगाातर खांसी चलना व ठीक हो जाना बना रहता है। फेफड़ों में कफ का जमाव होता है।
-डॉ. नीरज गुप्ता, विभागाध्यक्ष श्वास रोग विभाग
यातायात पुलिस के जवानों की समय-समय पर स्वाथ्य की जांच करवाई जाती है। धूल, धुएं से बचने के लिए मास्क भी उपलब्ध करवाए जाते हैं।
-राजेन्द्र सिंह, पुलिस अधीक्षक

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