यहां ब्लैक फंगस के मरीजों को लगने वाला इंजेक्शन ही नहीं, रायपुर-बिलासपुर करना पड़ रहा रेफर
Black Fungus: मेडिकल कॉलेज अस्पताल (Medical college hospital) में अब तक ब्लैक फंगस के 7 मरीज की पुष्टि, अस्पताल में इंजेक्शन (Injection) नहीं होने के कारण 3 रेफर
अंबिकापुर. मेडिकल कॉलेज अस्पताल मेंब्लैक फंगस के मरीजों की जान बचाने के लिए इएनटी विभाग के चिकित्सकों द्वारा ऑपरेशन तो कर दिया जा रहा है लेकिन समय पर ब्लैक फंगस के इलाज में इस्तेमाल होने वाली अहम एम्फोटेरीसीन-बी इंजेक्शन (Amphotericin-B Injection) समय पर नहीं उपलब्ध हो पा रहा है।
मरीज को इंजेक्शन नहीं लगने के कारण परिजन मरीज को रेफर करा रहे हैं। दो मरीजों के इंजेक्शन में 3 दिन का गैप हो जाने के कारण परेशान परिजन रेफर कराकर रायपुर-बिलासपुर उपचार के लिए ले गए।
वहीं मेडिकल कॉलेज अस्पताल से दो ब्लैक फंगस (Black Fungus) के मरीजों को विवशता में रायपुर रेफर कर दिया गया है।
सरगुजा संभाग में अब तक ब्लैक फंगस के 7 मरीज पाए गए हैं। इनकी पुष्टि मेडिकल कॉलेज अस्पताल के चिकित्सकों द्वारा की गई है। इनमें कुछ मरीज पोस्ट कोविड के हैं, जो कोरोना संक्रमण से स्वस्थ होने के बाद पुन: ब्लैक फंगस की चपेट में आए हैं। सरगुजा में ब्लैक फंगस से एक 54 वर्षीय महिला की मौत दो दिन पूर्व हो चुकी है।
IMAGE CREDIT: Medical college hospital जबकि दो को इलाज के लिए रायपुर रेफर किया जा चुका है। इसके बावजूद सीजीएमएससी इस बीमारी के प्रति गंभीर नहीं है। मेडिकल कॉलेज अस्पताल के इएनटी विभाग के चिकित्सक पूरी मेहनत व जिम्मेदारी के साथ ब्लैक फंगस के मरीजों का ऑपरेशन कर जान बचाने की कोशिश में हैं पर सीजीएमएससी इस बीमारी के प्रति गंभीर नहीं दिख रहा है।
ब्लैक फंगस (Black Fungus) के इलाज में इस्तेमाल होने वाली अहम एम्फोटेरीसीन-बी इंजेक्शन समय पर मरीजों को नहीं उपलब्ध हो पा रहा है। इस कारण मरीज मेडिकल कॉलेज अस्पताल से रेफर कराकर दूसरे शहर जाने को विवश हैं।
इस मामले में मेडिकल कॉलेज अस्पताल अधीक्षक डॉ. लखन सिंह ने बताया कि एम्फोटेरीसीन-बी इंजेक्शन उपलब्ध नहीं होने के कारण 2 मरीजों को रेफर किया गया है। उनके परिजन स्वयं बाहर ले जाना चाह रहे थे।
400 इंजेक्शन कराया गया है उपलब्ध डॉ. लखन सिंह ने कहा कि इंजेक्शन के संबंध में सीजीएमएसी से बात की गई। सीजीएमएससी द्वारा मेडिकल कॉलेज अंबिकापुर को 400 इंजेक्शन उपलब्ध कराया गया है लेकिन इंजेक्शन को फिलहाल जांच के लिए भेजा गया है। रिपोर्ट आने के बाद ही इंजेक्शन उपलब्ध कराया जाएगा।
एक मरीज को लगना रहता है 14 इंजेक्शन इएनटी विभाग के डॉ. बीआर सिंह ने बताया कि दो मरीजों का ऑपरेशन किया गया था। दोनों मरीज स्वस्थ थे। हर दिन एम्फोटेरीसीन-बी इंजेक्शन लगना रहता है। मेडिकल कॉलेज अस्पताल में उपलध नहीं होने के कारण दो दिनों से इंजेक्शन नहीं लग पाया था। इस कारण परिजन मरीज को रेफर कराकर बाहर ले गए हैं।
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