अंबिकापुर शहर के दर्रीपारा निवासी 46 वर्षीय व्यक्ति दवाइयों का थोक विक्रेता है। उसकी बिलासपुर चौक पर दुकान है। वह अंबिकापुर, सूरजपुर व बलरामपुर जिले में दवाइयों की सप्लाई करता है तथा उनसे मिलकर बिल की वसूली करता है। सप्ताहभर पूर्व सर्दी-बुखार की शिकायत आने पर उसने शहर के 2 हास्पिटल में कुछ दिनों तक अपना इलाज कराया।
3 जिलों के रिटेलरों से मिला
सूत्रों के अनुसार मेडिकल एजेंसी का संचालक सरगुजा संभाग के सरगुजा, सूरजपुर व बलरामपुर जिले के विभिन्न मेडिकल दुकान में दवाइयों की सप्लाई करता है। संक्रमण काल के दौरान वह सूरजपुर, बलरामपुर, वाड्रफनगर, बिश्रामपुर, श्रीनगर, लखनपुर समेत अन्य स्थानों के रिटेलरों से मिला था। उसकी रिपोर्ट पॉजिटिव आने की खबर मिलते ही संबंधित रिटेलर संचालकों द्वारा भी अपना सैंपल जांच के लिए दिया जा रहा है।
शोक संवेदना जताने भी हुआ शामिल
गौरतलब है कि कोरोना संक्रमित मेडिकल एजेंसी संचालक शहर में 2 दिन पूर्व हुए एक वृद्ध महिला के निधन पर अंतिम यात्रा में शामिल होने भी पहुंचा था लेकिन परिजन द्वारा शव ले जाए जाने के बाद वह घर लौट गया था। इसके अलावा हर दिन वह करीब दर्जनभर लोगों से मिलता था। ऐसे लोगों की पहचान कर उन्हें हाईरिस्क जोन में रखा गया है। वहीं परिवार के सदस्यों के भी सैंपल लिए जा रहे हैं।
नहीं है ट्रैवल हिस्ट्री
कोरोना संक्रमित व्यक्ति की कोई ट्रैवल हिस्ट्री भी नहीं है। न ही वह विदेश या दूसरे राज्यों से आए कोरोना संक्रमितों के संपर्क में आया है। ऐसे में वह कैसे संक्रमित हो गया, यह समझ से परे है। स्वास्थ्य विभाग भी इस बात को लेकर चिंतित है। ऐसे में कम्यूनिटी ट्रांसमिशन का खतरा बढ़ सकता है।