ज्वालामुखी विस्फोट के बाद आम जनजीवन वहां बहुत प्रभावित हुआ है। ताजा जानकारी ये है कि लावा के बहाव की वजह से आसपास के इलाकों के 21 घर तबाह हो गए हैं। लावा की पहुंच अब रिहायशी इलाकों तक भी पहुंच गई है, जिसकी वजह से 21 घर बर्बाद हो गए हैं। अमरीका के हवाई काउंटी की तरफ से ये जानकारी दी गई है कि अब लावा रिहायशी इलाकों की तरफ बढ़ रहा है, जिसकी वजह से लोगों के घर जल रहे हैं। इसके अलावा 1700 से ज्यादा लोगों के बेघर होने की भी जानकारी है।
खबरों के मुताबिक, ज्वालामुखी फटने के बाद से उसमें से टॉक्सिक सल्फर डाइऑक्साइड गैस निकल रही है, जो लोगों को अपना स्थान छोड़ने के लिए मजबूर कर रही है। यूएसजीएस का कहना है कि शुक्रवार (4 मई) को ज्वालामुखी भड़कने से आया 6.9 तीव्रता का भूंकप 1975 के बाद से सबसे शक्तिशाली भूकंप था। भूकंप के तुरंत बाद लगभग 14,000 घरों में बिजली गुल हो गई। दुनिया के एक सबसे सक्रिय ज्वालामुखी किलाएवा में हवाई के सबसे बड़े द्वीप के आवासीय क्षेत्र के पास विस्फोट होने से क्षेत्र के करीब 1,700 लोगों को इलाके को छोड़कर जाने को मजबूर होना पड़ा है।
अमरीकी मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, बुधवार (2 मई) को ज्वालामुखी विस्फोट से लीलानी एस्टेट प्रभावित हुआ है और हवाई काउंटी सिविल डिफेंस ने निवासियों व साथ ही साथ लानीपुना गार्डेंस के लोगों से स्थानीय समुदायिक केंद्र में शरण लेने को कहा है।एक निवासी ने कहा कि सड़क पर लावा पूरी तरह से फैला था और उन्हें सल्फर व जले पेड़ों की गंध आ रही थी।